संघ के विद्या भारती विद्यालयों में बढ़े 60 प्रतिशत मुस्लिम छात्र 

सीएए और एनआरसी को लेकर भले ही मुस्लिम वर्ग के लोग भाजपा व इससे जुड़े संगठन राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की नीतियों को कोस रहे हैं लेकिन इस वर्ग के बच्चों की संख्या संघ से संचालित विद्या भारती के विद्यालयों में तेजी से बढ़ी है। सालभर में इन विद्यालयों में मुस्लिम वर्ग के छात्र-छात्राओं की संख्या 60 प्रतिशत तक बढ़ी है।

छात्र-छात्राओं के साथ संघ के विद्यालयों में मुस्लिम वर्ग की शिक्षक-शिक्षिकाओं की संख्या में भी इजाफा हुआ है। कानपुर प्रांत से जुड़े 14 जनपदों में विद्या भारती के 141 विद्यालय हैं। पिछले वर्ष की अपेक्षा इन विद्यालयों में मुस्लिम वर्ग के विद्यार्थियों की संख्या में 600 की बढ़ोत्तरी हुई है।

देश भर में विद्या भारती से संचालित 12500 विद्यालयों में भी इसी अनुपात से मुस्लिम वर्ग के छात्रों की संख्या बढ़ी है। इन छात्र-छात्राओं को भी दूसरे वर्ग के छात्रों की तरह श्लोक, भजन और मंत्र का पाठ कराया जाता है। इन्हें भी मंत्र, श्लोक और भजन कंठस्थ हैं।

विद्या भारती के प्रांत निरीक्षक आत्मानंद के अनुसार विद्या भारती सभी छात्रों को समान शिक्षण व्यवस्था उपलब्ध कराती है। मुस्लिम वर्ग के विद्यार्थी भी हर वर्ष शैक्षिक के साथ-साथ खेलकूद, वाद विवाद जैसी प्रतियोगिताओं में अव्वल आते हैं।

क्या कहते हैं आंकड़े…
141, विद्यालय कानपुर प्रांत में विद्या भारती के स्थापित हैं।
1031, मुस्लिम वर्ग के छात्रों की संख्या थी कानपुर प्रांत में पिछले वर्ष।
1631, मुस्लिम वर्ग के छात्रों ने इस वर्ष संघ के विद्यालयों में लिया प्रवेश।
12500, विद्यालय पूरे देश में संचालित हैं राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के।
60, प्रतिशत मुस्लिम वर्ग के छात्रों की संख्या पिछले वर्ष से बढ़ी है।
14, जिले हैं राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की दृष्टि से कानपुर प्रांत में।

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