गांव अब्दुलपुर स्थित जिला कारागार में नशीले पदार्थ को लेकर बंदियों के बीच हुई मारपीट हो गई। इसमें चार बंदी घायल हो गए। सभी घायलों का कारागार के अस्पताल में इलाज कराया गया। जेल अधीक्षक ने जांच के बाद कार्रवाई करने की बात कही है।
पूर्वांचल के डॉन मुन्ना बजरंगी की हत्या के बाद से बागपत जिला कारागार देशभर में मशहूर हो गई है। सूत्रों के अनुसार, रविवार सुबह जिला कारागार में गांगनौली और मुंढबर के बंदियों के बीच नशीले पदार्थ को लेकर मारपीट हो गई। इस दौरान जमकर लात-घूंसे और लाठी-डंडे चले।
बंदी रक्षकों ने बंदियों के बीच मारपीट शांत करानी चाही, लेकिन नाकाम रहे। मामला बेकाबू होता देख अधिकारियों ने पीएसी को बुलवाया। पीएसी के जवानों ने लाठियां भांजकर बंदियों को शांत किया। मारपीट में चार बंदी घायल हो गए।
सभी का कारागार के अस्पताल में ही इलाज कराया गया। इस संबंध में जेल अधीक्षक सुरेश कुमार सिंह का कहना था कि वह किसी कार्य से लखनऊ गए हुए थे। उन्हें कारागार में हुई मारपीट की जानकारी नहीं है। वह आकर पड़ताल करेंगे और उचित कार्रवाई करेंगे।
वहीं बंदियों के बीच मारपीट का शोर सुनकर आसपास के खेतों में काम कर रहे किसान भी कारागार के बाहर इकट्ठा हो गए।
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