तीन रुपये किलो भी नहीं बिक रही बंदगोभी, राकेश टिकैत ने हरी-भरी फसल पर चलाया ट्रैक्टर, की मुआवजे की मांग

शामली  उत्तरप्रदेश के शामली में भाकियू प्रवक्ता राकेश टिकैत ने बंदगोभी की हरी भरी फसल पर ट्रैक्टर चला दिया। उनका कहना है कि लाॅकडाउन के कारण बंदगोभी की खेती करने वाले किसानों को काफी नुकसान हुआ है। ऐसे में सरकार को किसानों को संकट से उबरने के लिए मुआवजा दिया जाए।बंद गोभी का सबसे ज्यादा इस्तेमाल फास्ट फूड बनाने में हो रहा है, लेकिन लॉक डाउन के कारण होटल रेस्टोरेंट बंद हैं। लिहाजा बंद गोभी की डिमांड खत्म हो गई है। सब्जी मंडियों में आ रही बंद गोभी का उठान मुश्किल हो गया है।बंद गोभी को दो से तीन रुपये किलो में भी निकालना मुश्किल हो रहा है।

रविवार को थानाभवन क्षेत्र के गांव मसावी पहुंचे भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने बंद गोभी की फसल पर ट्रैक्टर चलाया। उन्होंने बताया कि मांग न होने के कारण बंद गोभी के किसान बर्बादी की कगार पर आ गए हैं। सरकार को इसका मुआवजा देना चाहिए।

किसानों ने उन्हें बताया कि थानाभवन, जलालाबाद सहित पूरे क्षेत्र में 2000 बीघा से अधिक क्षेत्र में बंद गोभी की फसल लगाई गई है। उनकी एक बीघा फसल में करीब दस हजार की लागत आई है लेकिन अब उनकी लागत तो दूर मंडी में ले जाने का किराया तक नहीं मिला मजबूर होकर किसान के सामने अपनी मेहनत से लगाई फसल को ही नष्ट करने की नौबत आ रही है।

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