नई दिल्ली, श्रीनगर: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में रामगढ़ में एक चुनावी रैली को संबोधित करते हुए बड़ा ऐलान किया। उन्होंने कहा कि अगर भारतीय जनता पार्टी (BJP) फिर से सत्ता में आई, तो पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) को जम्मू-कश्मीर में शामिल किया जाएगा। योगी ने जोर देकर कहा कि भाजपा की सत्ता में वापसी के बाद PoK भी जम्मू-कश्मीर का हिस्सा बनेगा। उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान की मौजूदा हालत इतनी खराब है कि वहां लोकतंत्र बचाने के लिए संघर्ष चल रहा है।
पीओके के लोग भारत से जुड़ने की मांग कर रहे हैं
योगी आदित्यनाथ ने पाकिस्तान की आर्थिक और राजनीतिक स्थिति पर भी तीखा हमला किया। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान आज खुद को संभालने में असमर्थ है, और पाकिस्तान के कब्जे वाला कश्मीर उससे अलग होने की आवाज़ उठा रहा है। पीओके के लोग भारत के साथ जुड़ना चाहते हैं और जम्मू-कश्मीर के चुनावों में भाग लेने का अधिकार मांग रहे हैं। योगी ने बलूचिस्तान का भी जिक्र करते हुए कहा कि वहां के लोग कह रहे हैं कि उनकी पाकिस्तान से कोई “रासायनिक मेल” नहीं है, क्योंकि पाकिस्तान एक मानवता-विरोधी राष्ट्र है। उन्होंने पाकिस्तान को मानवता का “कैंसर” बताते हुए कहा कि इसे समाप्त करना दुनिया के हित में है।
कांग्रेस पर तीखा हमला
रैली के दौरान योगी आदित्यनाथ ने कांग्रेस और उसके नेताओं पर भी निशाना साधा। उन्होंने सवाल किया कि क्या राहुल गांधी नेशनल कॉन्फ्रेंस द्वारा जम्मू-कश्मीर के लिए अलग झंडे की मांग का समर्थन करते हैं। साथ ही, उन्होंने पूछा कि क्या कांग्रेस अनुच्छेद 370 और 35A को वापस लाने के नेशनल कॉन्फ्रेंस की मांग का समर्थन कर रही है। योगी ने आरोप लगाया कि कांग्रेस पाकिस्तान से बातचीत के जरिए अलगाववाद को बढ़ावा देना चाहती है, जो जम्मू-कश्मीर के युवाओं के हितों के खिलाफ है।
उन्होंने आगे कहा कि कांग्रेस, पीडीपी और नेशनल कॉन्फ्रेंस ने जम्मू-कश्मीर को आतंकवाद का केंद्र बना दिया था। लेकिन जब से भाजपा केंद्र में सत्ता में आई है, राज्य में विकास के काम किए गए हैं और धारा 370 को हटाकर शांति और स्थिरता लाई गई है।
उमर अब्दुल्ला का पलटवार
इस बीच, नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने भाजपा पर तीखा पलटवार किया। उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी ने जम्मू-कश्मीर की शांति के लिए कई कुर्बानियां दी हैं और भाजपा से उन्हें कोई उम्मीद नहीं है। उमर अब्दुल्ला ने कहा, “अगर हम पाकिस्तान के एजेंडे पर चलते, तो हमने 35 साल पहले ऐसा किया होता, और हमारे 4500 से ज्यादा साथी शहीद नहीं होते।” उन्होंने अमित शाह और भाजपा पर उन कुर्बानियों को नज़रअंदाज करने का भी आरोप लगाया।