महाविकास अघाड़ी को एक और झटका, बीएमसी चुनाव अकेले लड़ेगी समाजवादी पार्टी

महाराष्ट्र में बृहन्मुंबई नगर निगम (बीएमसी) चुनाव से पहले महाविकास अघाड़ी गठबंधन को बड़ा झटका लगा है। समाजवादी पार्टी ने गठबंधन से अलग रहकर बीएमसी चुनाव लड़ने का फैसला किया है। समाजवादी पार्टी बीएमसी की 150 सीटों पर चुनाव लड़ने की तैयारी कर रही है। पार्टी ने उम्मीदवारों के चयन की प्रक्रिया भी शुरू कर दी है। इसी बीच अबू आजमी ने कहा है कि महाविकास अघाड़ी में कोई समन्वय नहीं है।
समाजवादी पार्टी से पहले उद्धव ठाकरे ऐलान कर चुके हैं कि शिवसेना (उद्धव बाला साहेब ठाकरे) भी बीएमसी चुनाव अकेले लड़ेगी। ऐसे में कांग्रेस और एनसीपी ही इस चुनाव के लिए एमवीए में दो बड़े दल बचे हुए हैं। अबू आजमी ने कहा कि वह अच्छे उम्मीदवारों को टिकट देंगे। चुनाव तैयारी शुरू करने का आदेश भी उन्होंने दे दिया है।
25 साल से अविभाजित शिवसेना का कब्जा
बीएमसी पर अविभाजित शिवसेना का 1997 से 2022 तक लगातार 25 वर्ष नियंत्रण था। बीएमसी के पिछले निर्वाचित प्रतिनिधियों का कार्यकाल मार्च 2022 की शुरुआत में समाप्त हो गया था। बीएमसी में कुल 227 सीटें हैं। सत्ताधारी महायुति गठबंधन इन 227 सीटों पर मिलकर चुनाव लड़ने की योजना बना रहा है। इनमें से अधिकतर सीटें एकनाथ शिंदे गुट की शिवसेना और बीजेपी के खाते में जा सकती हैं, जबकि अजित पवार की एनसीपी को कम सीटें मिल सकती हैं। वहीं, महा विकास अघाड़ी के दल मुंबई में अकेले चुनाव लड़ना चाहते हैं, जबकि पुणे, पिंपरी-चिंचवड और नासिक नगर निकायों में एमवीए गठबंधन में रहकर चुनाव लड़ना चाहते हैं।
उद्धव शिंदे के बीच असली मुकाबला
बीएमसी चुनाव में असली लड़ाई उद्धव ठाकरे की शिवसेना (यूबीटी) और एकनाथ शिंदे गुट की शिवसेना के बीच होगी। कुछ साल पहले तक दोनों अविभाजित शिवसेना का हिस्सा थे और लगातार 25 साल से बीएमसी में इनका कब्जा रहा है। अब दोनों एक दूसरे के खिलाफ उम्मीदवार उतारेंगे। ऐसे में लड़ाई रोचक होगी। हालांकि, इन दोनों के बीच लड़ाई का फायदा अन्य दलों को भी मिल सकता है।