मथुरा में मिट्टी का टीला धंसने से सात मकान गिरे, तीन की मौत; SDRF और NDRF की टीमें बुलाईं

मथुरा में मिट्टी का टीला धंसने से सात मकान गिरे, तीन की मौत; SDRF और NDRF की टीमें बुलाईं
मथुरा। मथुरा में रविवार दोपहर करीब 12 बजे गोविंद नगर शाहगंज फाटक पर कच्ची सड़क पर मिट्टी का टीला धंसक गया। इससे उस बने सात मकान भरभरा कर गिर गए। मलबे में दबकर तीन और छह साल की दो सगी बहनों समेत तीन लोगों की मृत्यु हो गई। अभी कई लोगों के दबे होने की आशंका है। प्रशासन राहत कार्य में जुटा है। टीले के चारों तरफ कई दिन से दीवार का निर्माण किया जा रहा था, ताकि वर्षा में मिट्टी ने धंसके। लेकिन अचानक टीला धंसक गया।गोविंद नगर क्षेत्र में शाहगंज दरवाजे के पास टीले की मिट्टी धंस जाने से उस पर बने कई मकानों के हिस्से गिर गए। इससे वहां काम कर रहे कई मजदूर मलबे में दब गए हैं। पुलिस की टीम मौके पर पहुंची और दबे लोगों को बाहर निकालने के लिए राहत और बचाव कार्य शुरू किया। मौके पर डीएम चंद्र प्रकाश सिंह और एसएसपी श्लोक कुमार मौके पर हैं।

मलबा हटाने के लिए छह जेसीबी लगाई गई हैं, वहीं आधा दर्जन कर्मचारी भी लगाए गए हैं। एसएपी श्लोक कुमार ने बताया एसडीआरएफ और एनडीआरएफ की टीम भी मौके पर पहुंच रही हैं। मलबा अधिक होने के कारण उसे हटाने में परेशानी हो रही है।

काफी मेहनत के बाद महिला और एक बच्चे मकान मलबे से निकाला गया। उन्हें हॉस्पिटल भेजा गया। वहीं 6 वर्षीय यशोदा और उसकी तीन वर्षीय बहन काव्या की भी मृत्यु हुई है। ये दोनों बच्ची वृंदावन के गौतमपाड़ा निवासी मोहन लाल की बेटियां हैं और यहां अपने ननिहाल आई थीं।

शाहगंज दरवाजा के पास मिट्टी के टीले हैं। इन टीलों एक और दो मंजिला कई मकान बने हैं। वर्षा में अक्सर टीले की मिट्टी धंस जाती है, इससे मकान गिरते हैं। ऐसे में जिनके मकान बन हैं, वह लोग टीले के आसपास चारों ओर दीवार लगवा रहे थे, ताकि मिट्टी न धंसे।

एक सप्ताह से काम चल रहा था

दीवार लगाने का काम करीब एक सप्ताह चल रहा था। दोपहर करीब सवा 12 बजे अचानक टीले की मिट्टी धंसक गई और आधा दर्जन मकानों के हिस्से गिर गए। इससे दीवार लगा रहे मजदूरों के अलावा कई मकानों में रह रहे लोग भी मलबे के नीचे दब गए। सूचना पर पुलिस और दमकल विभाग की टीम मौके पर पहुंची है। मलबे में दबे लोगों को बाहर निकाला जा रहा है।