राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ ने पूरे किए 100 साल, पीएम नरेंद्र मोदी ने दिया खास संदेश, बोले- मोहन भागवत का भाषण सुनना चाहिए

राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ ने पूरे किए 100 साल, पीएम नरेंद्र मोदी ने दिया खास संदेश, बोले- मोहन भागवत का भाषण सुनना चाहिए

राष्ट्रीय स्वंय सेवक संघ के 100वें वर्ष में प्रवेश पर पीएम नरेंद्र मोदी ने खास संदेश जारी किया है। उन्होंने सोशल मीडिया साइट एक्स पर पोस्ट शेयर करते हुए लिखा, “राष्ट्र सेवा में समर्पित राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ यानि आरएसएस आज अपने 100वें वर्ष में प्रवेश कर रहा है। अविरल यात्रा के इस ऐतिहासिक पड़ाव पर समस्त स्वयंसेवकों को मेरी हार्दिक बधाई और अनंत शुभकामनाएं। मां भारती के लिए यह संकल्प और समर्पण देश की हर पीढ़ी को प्रेरित करने के साथ ही ‘विकसित भारत’ को साकार करने में भी नई ऊर्जा भरने वाला है। आज विजयादशमी के शुभ अवसर पर माननीय सरसंघचालक श्री मोहन भागवत जी का उद्बोधन जरूर सुनना चाहिए।”

मोहन भागवत ने संबोधन में कही ये बात

आरएसएस के 100वें वर्ष में प्रवेश करने को लेकर नागपुर के आरएसएस मुख्यालय में कार्यक्रम का आयोजित किया गया था। इस कार्यक्रम में मोहन भागवत ने कहा कि देश की सीमा से लगे राज्य अस्वस्थ हैं। बहुत सारे असंतोष समाज में हो सकते हैं। असंतोष को व्यक्त करने के रास्ते भी संविधान में बताए गए हैं। चुप रहने को कोई नहीं कहता है। लेकिन पद्धति का पालन होना चाहिए। असंतोष की जगह गुंडागर्दी नहीं ले सकती है। उन्होंने कहा कि कहीं कहीं समाज के कट्टर स्वभाव के कारण कई बार समाज नहीं करता लेकिन उपद्रव करने वाले उपद्रव करके चले जाते हैं। बाबा साहब ने इन बातों को इंगित किया था।

मोहन भागव बोले- सब की अच्छा है देश बड़ा बनें

उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि गणेश उत्सव विसर्जन के दौरान जुलूसों पर पथराव हुआ। इसपर नियंत्रण करना प्रशासन का काम है। लेकिन प्रशासन के आने तक समाज के लोगों को अपने समाज के लोगों को नियंत्रण करना है। गुंडागर्दी नहीं चलने देनी है। बातें पुलिस प्रशासन को करनी है। उनके आने तक अपना प्राण और अपनों के प्राण को बचाना होगा, उसके लिए समाज को सजग रहना होगा। ये मैं किसी को लड़ाने के लिए नहीं कह रहा हूं। हमको इस परिस्थिति में से जाना है। सभी की इच्छा है देश बड़ा बनें। इसके लिए समाज की विशिष्ट स्थिति होनी चाहिए।


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