आजाद देश में हर किसी को अपना मजहब चुनने की आजादी – मौलाना यासूब अब्बास

 आजाद देश में हर किसी को अपना मजहब चुनने की आजादी – मौलाना यासूब अब्बास
  • पत्रकारों से बातचीत करते मौलान यासूब अब्बास।

देवबंद [24CN]। मंगलवार को सांपला रोड पर पूर्व राज्यमंत्री ईसा रजा के आवास पर शिया मुस्लिम पर्सनल-लॉ-बोर्ड के राष्ट्रीय महासचिव मौलाना यासूब अब्बास ने कहा कि मुल्क आजाद है और किसी को भी किसी मजहब में आने जाने की संवैधानिक आजादी है। लेकिन उन्होंने दो टूक कहा कि किसी को यह अधिकार नहीं है कि वह किसी मजहब के पैशवाओं और धार्मिक पुस्तक  की शान में गुस्ताखी करे।

पत्रकारों से बातचीत दौरान उन्होंने शिया पर्सनल-लॉ-बोर्ड के पूर्व चेयरमैन वसीम रिजवी द्वारा अब जितेंद्र नारायण त्यागी बनजाने पर कहा कि मुल्क में हर किसी को आजादी है वह किस धर्म में रहे। उन्होंने कहा कि वह अपने क्रिया क्लापो से बहुत पहले ही मजहब से निष्कासित किए जा चुके थे। मौलाना यासुब ने कहा कि कोई किसी भी धर्म में रहे लेकिन किसी को यह आजादी नहीं है कि वह शान-ए-मुस्तफा और कुरआन की आनबान में किसी तरह की गुस्ताखी करें। उन्होंने दो टूक कहा कि रसूल और कुरआन की शान में गुस्ताखी को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। वहीं उन्होंने चार सितंबर की रात्रि में पुलिस छापेमारी के दौरान घर से बुलाकर हुई जिशान की मौत की जांच अब तक पूरी न किए जाने पर हैरत जताई। उन्होंने कहा कि जीशान के मासूब बच्चें इंसाफ चाहते हैं और गुनहगार कोई भी हो उसे सजा मिलनी चाहिए। इस दौरान फहीम नबंरदार, सय्यद मेंहदी हसन, फैजान मलिक, सय्यद हसन और सय्यद नवेद अली आदि मौजूद रहे।