लालू यादव की जमानत पर फैसला आज… पटना में तेजस्‍वी-तेजप्रताप दे रहे दावत-ए-इफ्तार

लालू यादव की जमानत पर फैसला आज… पटना में तेजस्‍वी-तेजप्रताप दे रहे दावत-ए-इफ्तार
  • चारा घोटाले के पांच मामलों के सजायाफ्ता राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव की जमानत पर झारखंड हाई कोर्ट में आज सुनवाई हो रही है। यह मामला जस्टिस अपरेश कुमार सिंह की अदालत में सूचीबद्ध है। सीबीआइ लालू की जमानत का विरोध कर रही है

रांची। चारा घोटाला (Fodder Scam) के पांच मामलों में सजायाफ्ता राजद सुप्रीमो (RJD Chief) और बिहार के पूर्व मुख्‍यमंत्री लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) की जमानत पर झारखंड हाई कोर्ट (Jharkhand High Court) में आज, शुक्रवार को सुनवाई होगी। यह मामला जस्टिस अपरेश कुमार सिंह (Justice Aparesh Kumar Singh) की अदालत में सुनवाई के लिए सूचीबद्ध है।

लालू की जमानत (Lalu Yadav Bail) पर सुबह 11 बजे लालू के वकील और सीबीआइ (CBI) के वकील कोर्ट में अपनी दलीलें पेश करेंगे। डोरंडा कोषागार मामले में लालू यादव की जमानत (Lalu Prasad Bail) का विरोध कर रहे केंद्रीय जांच एजेंसी, सीबीआइ (CBI) की ओर से लालू की जमानत का विरोध करते हुए जवाब दाखिल कर दिया गया है। लालू प्रसाद यादव को आज जमानत मिलती है तो उन्हें जेल से बाहर आने का मौका मिल जाएगा।

सीबीआइ (CBI) ने अपने जवाब में कहा है कि लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) ने डोरंडा कोषागार वाले मामले में कोर्ट (CBI Special Court Ranchi) द्वारा दी गई 5 साल सजा की आधी अवधि जेल में नहीं बिताई है। सीबीआइ की विशेष अदालत ने लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) को डोरंडा कोषागार से अवैध निकासी मामले में पांच साल की सजा और 60 लाख का जुर्माना लगाया है। इस आदेश के खिलाफ लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) ने झारखंड हाई कोर्ट (Jharkhand High Court) में अपील दाखिल की है।

लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) की ओर से बढ़ती उम्र और 17 प्रकार की बीमारियों का हवाला देते हुए जमानत देने की गुहार लगाई गई है। लालू प्रसाद (Lalu Prasad) का कहना है कि उन्होंने इस मामले में 41 माह जेल में बिताए हैं। जबकि सजा की आधी अवधि 30 माह ही होती है। वे आधी सजा से 11 माह अधिक जेल में रहे हैं, इसलिए उन्हें अदालत से जमानत की सुविधा मिलनी चाहिए।

बता दें कि लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) रांची के होटवार जेल के कैदी हैं। जिन्‍हें रिम्‍स में इलाज के लिए भर्ती कराया गया था। इलाज के क्रम में लालू की एक किडनी फेल कर जाने पर उन्‍हें विशेष इलाज के लिए एम्‍स दिल्‍ली भेजा गया है। अभी लालू की हालत स्थिर बताई जा रही है। उनका क्रिटनीन लेवल 5 से ऊपर पहुंच गया है। लालू की बेटी मीसा भारती दिल्‍ली में अपने पिता की देखरेख कर रही है। लालू के छोटे बेटे तेजस्‍वी यादव (Tejashwi Yadav) ने अपने पिता के शीघ्र स्‍वस्‍थ होने के लिए लोगों से दुआएं करने की अपील की है।

पटना में तेजस्‍वी यादव-तेज प्रताप यादव दे रहे दावत-ए-इफ्तार

इधर बिहार विधानसभा उपचुनाव में बोचहां सीट पर भाजपा को करारी शिकस्‍त देने वाले तेजस्‍वी यादव (Tejashwi Yadav) आज पटना में दावत-ए-इफ्तार का आयोजन कर रहे हैं। लालू के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव (Tej Pratap Yadav) ने इसकी जानकारी दी। गुरुवार को ट्विटर पर लिखे गए संदेश में उन्‍होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) के नाम इफ्तार का आमंत्रण पत्र पोस्‍ट किया है। तेज प्रताप ने कहा, रमजान के मौके पर गृह मंत्री अमित शाह का पटना के 10 सर्कुलर रोड पर आयोजित इफ्तार में हार्दिक स्वागत है। बता दें कि 10 सर्कुलर रोड लालू यादव की पत्‍नी बिहार की पूर्व मुख्‍यमंत्री राबड़ी देवी का आवास है।

तुम राम कहो, वो रहीम कहें,

दोनों की गरज अल्लाह से है।

तुम दीन कहो, वो धर्म कहें,

मंशा तो उसी की राह से है।

 

सीबीआइ ने लालू की जमानत के खिलाफ दाखिल किया जवाब

लालू प्रसाद यादव की जमानत के खिलाफ सीबीआइ की ओर से दाखिल जवाब में कहा गया है कि लालू प्रसाद ने डोरंडा कोषागार मामले में सजा की आधी अवधि पूरी नहीं की है, इसलिए उन्हें अदालत से जमानत नहीं मिलनी चाहिए। पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने सीबीआइ को 20 अप्रैल तक अपना जवाब दाखिल करने को कहा था। जिसके बाद अदालत ने लालू की जमानत अर्जी पर सुनवाई के लिए 22 अप्रैल की तारीख तय कर दी।

रांची के डोरंडा कोषागार से 139 करोड़ रुपये की अवैध निकासी से जुड़े चारा घोटाला मामले में सीबीआइ की विशेष अदालत ने लालू प्रसाद यादव को 5 साल जेल और 60 लाख रुपये जुर्माना की सजा सुनाई है। सीबीआइ कोर्ट के इस आदेश के खिलाफ लालू प्रसाद यादव ने झारखंड हाई कोर्ट में अपील दाखिल की है। साथ ही आइए याचिका दाखिल कर जमानत की गुहार लगाई गई है।

लालू की जमानत याचिका में बढ़ती उम्र और 17 गंभीर बीमारियों का हवाला दिया गया है। लालू ने जमानत याचिका में दावा किया है कि वे चारा घोटाला मामले में 41 माह जेल में बिता चुके हैं। जबकि सजा की आधी अवधि सिर्फ 30 माह की होती है। उन्हें डोरंडा मामले में पांच साल की सजा मिली है। ऐसे में सजा की आधी अवधि ढाई साल जेल में काटने के आधार पर उन्हें जमानत दी जानी चाहिए।

 

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