ऐक्शन में योगीः कोटा में फंसे 7500 कोचिंग छात्रों को लाने के लिए भेजा बसों का काफिला

- लॉकडाउन के बाद यूपी के सात हजार से ज्यादा छात्र फंसे हैं कोटा में
- यूपी सीएम ने 247 रोडवेज बसें राजस्थान के लिए भिजवाईं
- झांसी और आगरा से शुक्रवार को रवाना की गईं बसें
- बसों में बैठाने से पहले छात्रों की होगी थर्मल स्कैनिंग
- लखनऊ
लॉकडाउन के दौरान राजस्थान के कोटा में इंजिनियरिंग व मेडिकल की कोचिंग करने वाले यूपी के करीब 7500 छात्र फंसे हुए हैं। छात्रों के अभिभावकों ने सरकार से गुहार लगाई है कि किसी तरह उनके बच्चों को यूपी वापस लाया जाए। इसके बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने अफसरों को वहां फंसे छात्रों को वापस बुलाने के निर्देश दिए हैं। शुक्रवार दोपहर तक उन्हें वापस लाने के लिए 247 रोडवेज बसें चलाने की तैयारी की जा चुकी है। शनिवार को ये बसें छात्रों को लेकर लौटेंगी।
राजस्थान सरकार ने अपने यहां फंसे छात्रों को वापस बुलाने के लिए सभी राज्य सरकारों को परमिट देने का भरोसा दिया है। जिस पर सीएम योगी आदित्यनाथ ने यूपी के छात्रों को वापस बुलाने का तुरंत निर्णय करते हुए रोडवेज के एमडी राज शेखर को बसों का प्रबंध करने के निर्देश दिए। एमडी ने सीजीएम (आपरेशन) राजेश वर्मा व सीजीएम (टेक्निकल) जयदीप वर्मा को बसों का प्रबंध करके कोटा भेजने की जिम्मेदारी सौंपी है। सीजीएम ने आगरा, अलीगढ़ व इटावा के रीजनल मैनेजरों व सर्विस मैनेजरों को बसों का प्रबंध करके कोटा भेजने के आदेश दिए हैं।
किस डिपो से भेजी जा रहीं कितनी बसें
आगरा परिक्षेत्र के फोर्ड डिपो से 20, फाउंड्रीनगर डिपो से 15, ईदगाह डिपो से 30, ताज डिपो से 20, मथुरा डिपो से नौ व बाह डिपो से छह बसें मिलाकर कुल 100 बसें भेजी जा रही हैं। वहीं अलीगढ़ क्षेत्र के बुद्धविहार डिपो से 15, अलीगढ़ डिपो से 10, हाथरस डिपो से 17, कासगंज व एटा डिपो से 15-15 बसें मिलाकर कुल 72 बसें रवाना की जा रही हैं। जबकि इटावा क्षेत्र के बेवर डिपो से पांच, छिबरामऊ से तीन, मैनपुरी डिपो से सात, इटावा, औरैय्या, शिकोहाबाद व फर्रुखाबाद डिपो से 15-15 बसें मिलाकर कुल 75 बसें भेजी जा रही हैं।
आगरा के आरएम व एसएम कर रहे मॉनिटरिंग
कोटा से छात्रों को लाने के लिए भेजी जा रही बसों की मॉनिटरिंग का काम आगरा परिक्षेत्र के आरएम मनोज त्रिवेदी व सर्विस मैनेजर एसपी सिंह कर रहे हैं। सर्विस मैनेजर खुद अपनी देखरेख में बसों को सैनिटाइज कराने के बाद ही भेज रहे हैं। इसके साथ ही उन्हें सभी ड्राइवरों को मास्क व सैनिटाइजर देने के साथ ही खाने के इंतजाम करने की जिम्मा दिया गया है।
थर्मल स्कैनिंग के बाद ही बसों में बैठाए जाएंगे छात्र
अफसरों का दावा है कि बसों में बैठाने से पहले सभी छात्रों की थर्मल स्कैनिंग की जाएगी। इसके बाद उन्हें मास्क देकर बसों में बैठाया जाएगा। किसी भी बस में 35 छात्रों से ज्यादा नहीं बैठेंगे। उनके अलावा बसों में सुरक्षा कर्मी भी मौजूद रहेंगे।
कोटा से इलाके वार भेजी जाएंगी स्पेशल बसें
कोटा पहुंचने के बाद इन बसों से आने वाले छात्रों को उनके इलाकों के अनुसार भेजा जाएगा। कोशिश होगी जिस डिपो की बसों से जहां का क्षेत्र नजदीक है उनमें वहां के छात्र भेजे जाएं। इसके अलावा लखनऊ, वाराणसी, इलाहबाद, गोरखपुर व पूर्वांचल के छात्रों को उनके गंतव्य के अनुसार बसों में बैठाया जाएगा। इस दौरान बसों की मिडिल सीट पर कोई भी छात्र या सुरक्षा कर्मी सफर नहीं करेगा।