नहीं रहे दिग्गज कांग्रेस नेता मोतीलाल वोरा, 93 साल की उम्र में निधन, सियासी हस्तियों ने जताई शोक संवेदना

नई दिल्ली । कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मोतीलाल वोरा का 93 साल की उम्र में सोमवार को निधन हो गया। वह दो बार मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री रहे थे। गांधी परिवार के बेहद करीबी माने जाने वाले वोरा उत्तर प्रदेश के राज्यपाल भी रहे थे। वोरा 17 साल तक कांग्रेस के कोषाध्यक्ष भी रहे थे। उन्होंने रविवार (20 दिसंबर) को ही अपना 93वां जन्मदिन भी मनाया था। वोरा दिल्ली के फोर्टिस एस्कॉर्ट अस्पताल में भर्ती थे। साल 2018 में बढ़ती उम्र का हवाला देते हुए राहुल गांधी ने उनसे कोषाध्यक्ष पद की जिम्मेदारी ले ली थी।
राहुल बोले- सच्चे कांग्रेसी थे वोरा
मोतीलाल वोरा के निधन पर दिग्गज सियासी हस्तियों ने शोक प्रकट किया है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने वोरा के निधन पर शोक प्रकट करते हुए कहा कि वोरा जी एक सच्चे कांग्रेसी और अद्भुत इंसान थे। उनके निधन से भारी क्षति हुई है। वह हमें बहुत याद आएंगे। उनके परिवार और दोस्तों के प्रति मेरी संवेदना है।
सभी दलों में पाते थे सम्मान
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट कर कहा कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता श्री मोतीलाल वोरा का निधन काफी दुःखद है। वे लंबे समय तक सार्वजनिक जीवन में रहे और अनेक पदों पर उन्होंने काम किया। जब वे उत्तर प्रदेश के राज्यपाल थे तब मुझे भी उन्हें करीब से जानने और समझने का मौका मिला। वे एक सौम्य एवं अनुभवी राजनेता के रूप में सभी दलों में सम्मान पाते थे। दुख की इस घड़ी में उनके शोकाकुल परिवार और उनके समर्थकों के प्रति मैं अपनी संवेदना व्यक्त करता हूं। ईश्वर उनकी आत्मा को शांति दें। ॐ शान्ति!
92 साल की उम्र तक बनी रही सक्रियता
कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने कहा कि मोतीलाल वोरा जी के निधन से कांग्रेस का हर नेता, हर एक कार्यकर्ता व्यक्तिगत रूप से दुखी है। वोरा जी कांग्रेस की विचारधारा के प्रति निष्ठा, समर्पण और धैर्य के प्रतीक थे। 92 साल की उम्र में भी हर बैठक में उनकी मौजूदगी रही। हर निर्णय पर उन्होंने अपने विचार खुलकर प्रकट किए। आज दुःख भरे दिल से उन्हें अलविदा कहते हुए यह महसूस हो रहा है कि परिवार के एक बड़े बुजुर्ग सदस्य चले गए हैं। हम सब उन्हें बहुत याद करेंगे।
सिंधिया ने भी जताया शोक
भाजपा नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व राज्यसभा सांसद मोतीलाल वोरा जी के निधन पर मेरी गहरी संवेदनाए। ईश्वर से प्रार्थना है कि वह दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें और शोक संतप्त परिजनों को यह आघात सहने की शक्ति दे।
हाल ही में हुआ था पटेल का निधन
वोरा के बाद कोषाध्याक्ष की जिम्मेदारी अहमद पटेल को दी गई थी जिनका 25 नवंबर को निधन हो गया था। अहमद पटेल कांग्रेस के संकटमोचक के तौर पर चर्चित थे। उनको दिग्गज रणनीतकार माना जाता था। इन नेताओं का निधन कांग्रेस के लिए किसी बड़े झटके से कम नहीं माना जा रहा है।
सियासत में लंबे वक्त तक रहे सक्रिय
साल 1970 में कांग्रेस में शामिल हुए वोरा 13 मार्च 1985 से 13 फरवरी 1988 तक और 25 जनवरी 1989 से 9 दिसंबर 1989 तक दो बार मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे। वोरा साल 1972 में कांग्रेस के टिकट पर विधायक चुने गए। बाद में साल 1977 और 1980 में विधायक के तौर पर जीते। यही नहीं दिग्गज नेता अर्जुन सिंह की कैबिनेट में उन्होंने उच्च शिक्षा विभाग में राज्य मंत्री के तौर पर जिम्मेदारी भी निभाई। यही नहीं साल 1983 में उन्हें कैबिनेट मंत्री भी बनाया गया।