‘सब्र से काम लें…’, जब पाक पर कहर बन बरसी भारतीय सेना तो चीन देने लगा शांति की दुहाई

‘अमन और इलाके की भलाई में है हल’
चीनी प्रवक्ता ने कहा कि मौजूदा हालात में किसी भी तरह की ‘गलतफहमी’ या ‘उकसावे’ से बचा जाना चाहिए, क्योंकि इसका असर पूरे इलाके की अमन और तरक्की पर पड़ेगा। उन्होंने कहा, “यह भारत और पाकिस्तान दोनों के बुनियादी हित में है, साथ ही पूरे इलाके की स्थिरता और अमन के लिए भी जरूरी है। यही वो बात है जो पूरी दुनिया की बिरादरी चाहती है।”बयान में यह भी कहा गया कि चीन इस दिशा में रचनात्मक भूमिका निभाने के लिए तैयार है। चीन ने पहले ही पहलगाम आतंकी हमले की निंदा की थी और साथ ही कहा था कि मामले की जांच होनी चाहिए।
भारत-पाकिस्तान में तनाव क्यों बढ़ा?
22 अप्रैल को हुए पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत ने बुधवार को पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में मौजूद आतंकी लॉन्चपैड्स पर सटीक हमले किए थे। इसके बाद पाकिस्तान ने जवाबी कार्रवाई में शुक्रवार की रात ड्रोन हमलों की एक और लहर चलाई, जिसमें जम्मू-कश्मीर से लेकर गुजरात तक 26 ठिकानों को निशाना बनाया गया।
बीजिंग में भारत ने जताई नाराजगी
इधर, पाकिस्तान के डिप्टी प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री इशाक डार ने चीन के सीनियर राजनयिक वांग यी से 27 अप्रैल को टेलीफोन पर बात की थी। इसके बाद चीन के पाकिस्तान में राजदूत जिआंग झाइडोंग ने पाक प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ, राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी और इशाक डार से मुलाकात की थी।वहीं बीजिंग स्थित भारतीय दूतावास ने चीन के कुछ सरकारी मीडिया पोस्टों को लेकर चिंता जताई है, जिनमें पाकिस्तान की सेना के दावों को प्रमुखता दी जा रही थी। 7 मई को दूतावास ने एक्स (X) पर पोस्ट कर चीन के सरकारी टैब्लॉइड को आगाह करते हुए लिखा, “ऐसे पुराने चित्रों से सावधान रहें जिन्हें वर्तमान हालात में भ्रामक रूप से शेयर किया जा रहा है।”
शनिवार को भारतीय दूतावास ने पीआईबी फैक्टचेक यूनिट की ओर से शेयर किए गए फर्जी खबरों के खंडन को भी अपने सोशल मीडिया अकाउंट से साझा किया।