पटना : बिहार कांग्रेस के वरीय नेता सदानंद सिंह का बुधवार की सुबह पटना के एक निजी अस्पताल में लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया। वे लंबे समय से लिवर सिरोसिस की बीमारी से पीडि़त थे। उनके निधन के साथ बिहार में कांग्रेस के एक युग का अंत हो गया है। उनके निधन पर शोक संवदनाओं का तांता लग गया है। शोक प्रकट करने वालों में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एवं बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव भी शामिल हैं।
कहलगांव से नौ बार रहे विधायक
सदानंद सिंह कांग्रेस ही नहीं, बिहार के सबसे बुजुर्ग व बड़े नेताओं में शामिल रहे। वे बिहार विधानसभा के अध्यक्ष रह चुके थे। वे लंबे समय तक कैबिनेट मंत्री (Cabinet Minister) भी रहे थे। उन्होंनेभागलपुर की कहलगांव विधानसभा सीट का नौ बार प्रतिनिधित्व किया।
आठ जुलाई से खराब थी तबीयत
सदानंद सिंह के पुत्र शुभानंद मुकेश के अनुसार उनके पिता की तबीयत आठ जुलाई से खराब थी। पहले उन्हें दिल्ली में डाक्टरों की निगरानी में दो सप्ताह तक रखा गया। फिर, पटना लाया गया। अगस्त में फिर तबीयत बिगड़ने पर उन्हें पटना के दानापुर के क्यूरिस अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
शोक-संवेदनाओं का लगा तांता
सदानंद सिंह के निधन पर शोक-संवेदनाओं का तांता लगा हुआ है। उनके निधन पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव तथा हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के अध्यक्ष जीतनराम मांझी सहित कई नेताओं ने शोक प्रकट किया है।
बिहार प्रदेश अध्यक्ष डा. मदन मोहन झा (Dr. Madan Mohan Jha) ने शोक जताते हुए कहा है कि सदानंद सिंह बिहार के सर्वमान्य नेता व कांग्रेस के योद्धा थे। उनके साथ एक राजनीतिक युग का अवसान हो गया है।
सदानंद सिंह के निधन पर नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) ने शोक प्रकट करते हुए कहा कि वे एक कुशल राजनेता थे। उनका लंबा सामाजिक व राजनीतिक अनुभव रहा।