Solan : हिमाचल प्रदेश में जिला सोलन के परवाणू टिंबर ट्रेल (केबल कार रोपवे) में तकनीकी दिक्‍कत आने के कारण 14 पर्यटक फंस गए। साढ़े तीन घंटे की जद्दोजहद के बाद सभी 14 पर्यटकों को रेस्‍क्‍यू कर लिया गया। टिंबर ट्रेल रिसोर्ट की टीम व पुलिस प्रशासन ने साढ़े चार बजे के करीब रेस्‍क्‍यू आपरेशन पूरा कर लिया। घंटों पर्यटकों की जान हवा में अटकी रही। करीब डेढ़ घंटे बाद रेस्‍क्‍यू आपरेशन शुरू हो पाया। इन्‍हें रेस्‍क्‍यू करने के लिए दूसरी केबल कार ट्राली भेजी गई। इसके बाद रेस्‍क्‍यू आपरेशन शुरू कर दिया गया। मुख्‍यमंत्री जयराम ठाकुर ने भी ट्वीट कर जानकारी दी कि रेस्‍क्‍यू आपरेशन में स्‍थानीय प्रशासन और एनडीआरएफ की टीम ने भी योगदान दिया।

  • हादसे की सूचना मिलते ही जिला सोलन पुलिस भी मौके पर पहुंच गई है व रेस्‍क्‍यू कार्य शुरू कर दिया गया।
  • घटना के डेढ़ घंटे के भीतर ही तीन पर्यटकों को रेस्‍क्‍यू कर लिया गया।
  • पौने चार बजे तक राहत की खबर आई कि रेस्‍क्‍यू टीम ने 14 में से नौ पर्यटकों को जमीन पर उतार लिया गया। एनडीआरएफ टीम भी मौके पर पहुंच गई।

पर्यटकों ने जारी किया वीडियो

अंदर फंसे पर्यटकों का भी वीडियो सामने आया। पर्यटक हौसला बनाए हुए दिखे। अधिकतर पर्यटक उम्र दराज हैं। वीडियो में पर्यटक जल्‍दी से जल्‍दी रेस्‍क्‍यू करने की मांग कर रहे हैं। यह हादसा दोपहर एक बजे हुआ, उसके बाद से पर्यटक शाम तक हवा में फंसे रहे।

रोपवे की शाफ्ट टूटने से हादसा

प्रशासन से प्राप्‍त जानकारी के अनुसार शाफ्ट टूटने से दो रोपवे ट्राली फंस गई। ऊपर जाने वाली ट्राली में तीन पर्यटक थे, जिन्‍हें रेस्‍क्‍यू कर लिया गया है। वहीं, ऊपर से नीचे की तरफ आ रही रोपवे ट्राली में 11 पर्यटक फंसे हुए थे।

गर्भवती महिला रेस्‍क्‍यू

 

रेस्‍क्‍यू टीम ने दिल्‍ली निवासी अंजू गर्ग को रेस्‍क्‍यू कर लिया है। महिला गर्भवती है व अब सकुशल रेस्‍क्‍यू कर ली गई है। अन्‍य पर्यटकों को भी जल्‍द ही सुरक्षित रेस्‍क्‍यू कर लिया जाएगा। उन्‍होंने ऐसी उम्‍मीद जताई।

30 साल पहले भी हुआ था हादसा

11 अक्‍टूबर 1992 को भी यहां हादसा हुआ था, कई दिन तक दस लोग इसमें फंसे रहे थे व एक व्‍यक्ति की मौत हो गई थी। यह रोपवे ट्राली टिंबर ट्रेल रिसोर्ट की है। शिमला परवाणू हाईवे से ठीक पार पहाड़ी पर यह रिसोर्ट है। इस रिसोर्ट तक पहुंचने के लिए सड़क नहीं है। रोपवे ट्राली के सहारे ही पर्यटक यहां तक पहुंचते हैं। शिमला की ओर जाने वाले काफी पर्यटक इस रिसोर्ट में रुकते हैं। चंडीगढ़ से भी इसकी दूरी ज्‍यादा नहीं है। ऐसे में चंडीगढ़ के लोग वीकेंड पर पहाड़ी पर स्थित इस रिसोर्ट में लंच व डिनर करने के लिए पहुंच जाते हैं।

सोमवार होने के कारण कम थी भीड़

 

वीकेंड के बाद सोमवार को पर्यटकों को इतनी भीड़ नहीं थी। लेकिन इस बीच तकनीकी दिक्‍कत आ जाने के कारण पर्यटकों की ट्राली हवा में अटक गई। तकनीकी खराबी यदि शनिवार या रविवार को आती तो पर्यटकों का आंकड़ा और ज्‍यादा हो सकता था। ऊपर की तरफ जाने वाली ट्राली में तीन ही पर्यटक बैठे थे।