ओवैसी ने भारत लौटते ही किया राहुल गांधी के ‘सरेंडर’ वाले बयान से किनारा

नई दिल्ली: AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी और शशि थरूर समेत तमाम विपक्ष के नेताओं ने ऑपरेशन सिंदूर पर राजनीतिक विरोध भूलकर विदेश में भारत का पक्ष दमदार तरीके से रखा है लेकिन कांग्रेस नेता राहुल गांधी इस जंग को पीएम नरेंद्र मोदी का सरेंडर बता रहे हैं। ओवैसी, मंगलवार को ही भारत लौटे हैं और उन्होंने स्वदेश लौटते ही राहुल गांधी के बयान से किनारा कर लिया।
ओवैसी ने कहा कि राहुल को कैसे समझाना है, उनके बयान पर कैसे रिएक्ट करना है, ये तो कांग्रेस के नेता सोचें। जहां तक उनका सवाल है तो वो 21 जुलाई से शुरू हो रहे पार्लियामेंट के मॉनसून सेशन में पहलगाम हमले और सीजफायर पर सवाल जरूर पूछेंगे।
राहुल गांधी ने पीएम मोदी को लेकर क्या कहा था?
राहुल गांधी ने पीएम मोदी को लेकर बयान दिया था और कहा था, ‘उधर से ट्रंप ने फोन किया और इशारा किया कि मोदी जी क्या कर रहे हो? नरेंदर, सरेंडर. और ‘जी हूजूर’ कर के मोदी जी ने ट्रंप के इशारे का पालन किया।’
राहुल के बयान पर पाकिस्तान में चर्चा
चूंकि राहुल गांधी का स्टेटमेंट, पाकिस्तान के नैरेटिव को सूट करता है, इसलिए पाकिस्तान के हर न्यूज चैनल ने राहुल गांधी के बयान को हेडलाइन बनाया है और इस पर डिबेट की है। पाकिस्तान के ज्यादातर टीवी चैनल्स राहुल गांधी के स्टेटमेंट के बहाने से भारत को और प्रधानमंत्री मोदी को टारगेट कर रहे हैं।
इंडी गठबंधन के नेताओं ने भी किया राहुल के बयान से किनारा
राहुल की भाषा को अब इंडी गठबंधन के नेता भी सपोर्ट नहीं कर रहे हैं। RJD सांसद मनोज झा ने कहा कि राजनीति में शब्दों को सोच समझकर चुनना चाहिए। भाषा की मर्यादा का ध्यान रखना चाहिए। मनोज झा ने कहा कि बीजेपी के खिलाफ सारा विपक्ष मिलकर लड़ रहा है लेकिन ये वक्त पार्टी पॉलिटिक्स का नहीं है। इसलिए सोच समझकर बोलना चाहिए।
गौरतलब है कि राहुल का बयान ऐसे वक्त में आया जब ऑल पार्टी डेलिगेशन विदेशों में भारत की आवाज बना। इन डेलिगेशन्स में कांग्रेस के भी कई सांसद शामिल हैं। शशि थरूर और असदुद्दीन ओवैसी जैसे नेताओं ने राजनीतिक विरोध भूलकर विदेशों में भारत का पक्ष दमदार तरीके से रखा।