नोएडा एसएसपी वैभव कृष्ण पर गिरी मुख्यमंत्री योगी की गाज, निलंबित किया

नोएडा एसएसपी वैभव कृष्ण पर गिरी मुख्यमंत्री योगी की गाज, निलंबित किया
उत्तर प्रदेश के गौतम बुद्धनगर जिले के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक वैभव कृष्ण को निलंबित कर दिया गया है। वैभव कृष्ण पर सरकारी दस्तावेज लीक करने का आरोप है। इसके अलावा गाजियाबाद के एसएसपी सुधीर सिंह, रामपुर के एसपी अजय पाल शर्मा, सुल्तानपुर के एसपी हिमांशु कुमार समेत 14 आईपीएस अफसरों के भी तबादले कर दिए गए हैं।

उम्मीद की जा रही थी कि डीजीपी ओम प्रकाश सिंह के लखनऊ लौटने के बाद इस पर मामले में अंतिम निर्णय हो जाएगा। लेकिन अधिकारियों के बीच मंथन के बाद भी निर्णय नहीं हो सका। इसके बाद मुख्यमंत्री योगी ने जीपी और मुख्य सचिव गृह को बुलाकर मामले की जानकारी और फिर कार्रवाई की।

डीजीपी ने 24 घंटे में मांगा था स्पष्टीकरण
यह पूरा प्रकरण प्रकाश में आने के बाद डीजीपी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की थी और गोपनीय पत्र को सार्वजनिक करने को पुलिस सेवा नियमावली का उल्लंघन करार दिया था। उन्होंने आईजी मेरठ के जरिए इस मामले में नोएडा के एसएसपी से 24 घंटे में स्पष्टीकरण भी मांगा था।

कथित वीडियो वायरल होने के बाद मामला तूल पकड़ता जा रहा है। साइबर इमरजेंसी रिस्पांस टीम (सीईआरटी) की जिस रिपोर्ट को आधार बनाकर एसएसपी ने पांच आईपीएस अफसरों पर संगीन आरोप लगाए हैं, उसने आईपीएस लॉबी में हलचल पैदा कर दी है।

मोबाइल फोन की जांच के आधार पर बनाई गई इस रिपोर्ट पर कार्रवाई की गई तो लखनऊ से लेकर नोएडा तक कई अधिकारियों के फंसने की आशंका है।  इस रिपोर्ट में न केवल चुनिंदा आईपीएस अफसरों के नाम शामिल हैं, बल्कि 9 हेड कांस्टेबल से लेकर इंस्पेक्टर तक के नाम शामिल हैं। रिपोर्ट में ट्रांसफर-पोस्टिंग के इस खेल का एक मास्टरमाइंड चंदन राय और दूसरा अतुल शुक्ला एक आरएसएस कार्यकर्ता का खास बताया जा रहा है।

अहम बात यह है कि पिछले साल गिरफ्तार चार कथित पत्रकारों के मोबाइल की जांच के आधार पर सीईआरटी की रिपोर्ट तैयार की गई थी। जिसे एसएसपी ने पुलिस महानिदेशक और अपर मुख्य सचिव गृह को भेजा गया था।


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