कोडीन सिरप तस्करी केस में नई कार्रवाई: सहारनपुर में ईडी की छापेमारी, तस्करी नेटवर्क के कई नए चेहरे बेनकाब
- सहारनपुर में छापेमारी के दौरान विशाल राणा के घर के बाहर खड़ा सुरक्षा बलों का जवान।
सहारनपुर। कोडीन युक्त कफ सिरप की अवैध तस्करी के बड़े नेटवर्क की जांच में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शुक्रवार को सहारनपुर में बड़ी कार्रवाई की। ईडी की टीम ने विशाल राणा और विभोर राणा के कई ठिकानों पर छापेमारी कर दस्तावेजों की गहन पड़ताल की। टीम देर शाम तक मौके पर मौजूद रही। इससे पहले एसटीएफ ने इस मामले में दो अहम सहयोगियों (अभिषेक शर्मा और उसके भाई शुभम शर्मा) को लखनऊ के आलमबाग क्षेत्र से गिरफ्तार किया था। दोनों के पास से मोबाइल फोन और फर्जी फर्मों से जुड़े कई महत्वपूर्ण दस्तावेज बरामद हुए, जिनकी जांच जारी है। अभिषेक और शुभम नई दिल्ली में एबॉट कंपनी के सुपर डिस्ट्रीब्यूटर हैं।
एसटीएफ की जांच में खुलासा हुआ कि दोनों लंबे समय से विशाल और विभोर राणा के कफ सिरप तस्करी सिंडिकेट से जुड़े थे। अभिषेक वर्ष 2019 में सहारनपुर स्थित जीआर ट्रेडिंगकृजो विशाल और विभोर राणा की फर्म हैकृमें लोडिंग-अनलोडिंग का काम करता था, लेकिन बाद में अवैध सप्लाई चेन का हिस्सा बन गया। एसटीएफ के अनुसार, दोनों भाई एबॉट कंपनी की फैंसीडिल कफ सिरप मंगवाकर फर्जी फर्मों के जरिए खरीद-बिक्री दिखाते थे। इसके बाद यह सिरप बिहार, झारखंड और पश्चिम बंगाल के रास्ते बांग्लादेश भेजा जाता था। जांच में चार्टर्ड अकाउंटेंट अरुण सिंघल की भूमिका भी सामने आई है, जिसने फर्जी फर्म खोलने और दस्तावेज तैयार करने में तस्करों की मदद की।
बताया गया कि अरुण ने विशाल और विभोर राणा के यहां काम करने वाले बिट्टू और उसके भाई सचिन के नाम पर भी फर्में खोल रखी थीं, जिनका उपयोग अवैध खरीद-फरोख्त में किया जा रहा था। एसटीएफ अब इस पूरे आर्थिक नेटवर्क की विस्तृत जांच कर रही है और 2019 से सक्रिय सभी सहयोगियों को चिह्नित किया जा रहा है। लगातार हो रहे खुलासों से यह स्पष्ट होता जा रहा है कि कफ सिरप तस्करी का यह नेटवर्क कई राज्यों तक फैला हुआ था। एसआईटी द्वारा जारी की गई 12 साजिशकर्ताओं की सूची में विभोर राणा, सौरभ त्यागी, विशाल राणा, पप्पन यादव, शादाब, मनोहर जायसवाल, अभिषेक शर्मा, विशाल उपाध्याय, भोला प्रसाद, शुभम जायसवाल, आकाश पाठक, विनोद अग्रवाल शामिल हैं। ईडी और एसटीएफ की यह संयुक्त कार्रवाई तस्करी नेटवर्क की जड़ों तक पहुंचने में अहम मानी जा रही है।
