भगवान राम मानसिक संतुलन खो बैठे थे…’ तमिल कवि वैरामुथु की टिप्पणी पर बीजेपी का गुस्सा, माफी की मांग

भगवान राम मानसिक संतुलन खो बैठे थे…’ तमिल कवि वैरामुथु की टिप्पणी पर बीजेपी का गुस्सा, माफी की मांग

तमिलनाडु के प्रसिद्ध गीतकार और कवि वैरामुथु के हालिया बयान से बड़ा विवाद खड़ा हो गया है। उन्होंने एक कार्यक्रम में कहा कि सीता से अलग होने के बाद भगवान राम मानसिक संतुलन खो बैठे थे और बिना सोचे-समझे कार्य करने लगे। उन्होंने IPC की धारा 84 (मानसिक अस्वस्थता में किए गए अपराधों पर कानूनी छूट) का हवाला देते हुए दावा किया कि प्राचीन कवि कंबर ने राम को दोषमुक्त किया और उन्हें मानव रूप में प्रस्तुत किया।

यह टिप्पणी कंबन कज़गम द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में आई, जिसमें मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन और पूर्व केंद्रीय मंत्री एस. जगतरक्षगन मौजूद थे। कार्यक्रम में वैरामुथु को कंबर के नाम पर पुरस्कार दिया गया था।

बीजेपी ने इसे हिंदू आस्थाओं पर हमला करार देते हुए कड़ी निंदा की है। राज्य भाजपा अध्यक्ष नैनार नागेंद्रन ने मुख्यमंत्री से पूछा कि क्या वे इस बयान का समर्थन करते हैं। पार्टी प्रवक्ता नारायणन तिरुपति ने वैरामुथु को “मूर्ख और पागल” कहा, जबकि भाजपा नेताओं ने उन्हें “बार-बार अपराध करने वाला” बताया।

बीजेपी नेता सीआर केसवन ने सोशल मीडिया पर लिखा— “वैरामुथु ने भगवान राम को मानसिक रूप से विक्षिप्त कहकर करोड़ों भक्तों की भावनाओं को आहत किया है। यह शर्मनाक है और उन्हें तुरंत माफी मांगनी चाहिए। उन्होंने वैरामुथु पर पहले भी हिंदू देवी अंडाल समेत पवित्र व्यक्तित्वों के अपमान का आरोप लगाया।

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