कीव। यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेन्सकी ने यूक्रेन में रूस के साथ शुरू हुए जंग में पहले दिन 137 लोगों के मारे जाने की पुष्टि की और यह भी बताया कि राजधानी कीव से कुछ ही दूर पर स्थित चेर्नोबिल न्यूक्लियर साइट भी अब मास्को के नियंत्रण में चला गया है। उल्लेखनीय है कि द्वितीय विश्व युद्ध के बाद यूरोप में सबसे बड़ी सैन्य कार्रवाई के तहत यूक्रेन में रूस ने तीन तरफ से हमला बोल दिया है जिससे यहां की सुरक्षा व्यवस्था पूरी तरह चरमरा गई है। इस बीच यूक्रेन ने गुरुवार को संयुक्त राष्ट्र से तत्काल मानवाधिकार परिषद की बैठक बुलाने की मांग की है। वहीं फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने रूस के राष्ट्रपति व्लादीमिर पुतिन से यूूक्रेन में सैन्य कार्रवाई को तुरंत रोक देने को कहा है। बता दें कि यूक्रेन पर रूसी हमले के खिलाफ मसौदे पर शुक्रवार को UNSC में वोटिंग होगी। वहीं नाटो भी इमरजेंसी समिट आयोजित करेगा।

अप्रैल, 1986 को चेर्नोबिल परमाणु संयंत्र में दुनिया की सबसे भीषण परमाणु दुर्घटना हुई थी। इसमें विस्फोट के बाद पूरे यूरोप में रेडिएशन हुआ था। यह संयंत्र देश की राजधानी कीव के उत्तर में 130 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। जिस रिएक्टर में विस्फोट हुआ था, उसमें से विकिरण रिसाव रोकने के लिए उसे एक सुरक्षात्मक उपकरण से कवर किया गया है और पूरे संयंत्र को निष्क्रिय कर दिया गया है।

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यूक्रेन में चीनी दूतावास ने अपने नागरिकों के लिए दीं चार्टर्ड उड़ानें

यूक्रेन में चीनी दूतावास ने शुक्रवार को कहा कि पूर्वी यूरोपीय देश में मौजूद सभी चीनी नागरिक स्वदेश वापसी के लिए चार्टर्ड फ्लाइट के लिए रजिस्ट्रेशन करा लें। यह नोटिस दूतावास के आधिकारिक वीचैट अकाउंट पर पोस्ट किया गया। इसमें यह बताया गया कि इसके लिए 27 फरवरी तक रजिस्ट्रेशन हो सकता है। यूक्रेन में कुल 6000 चीनी नागरिक हैं।

पलायन जारी- पोलैंड, हंगरी, रोमानिया पहुंच रहे यूक्रेनी

यूक्रेन से लोगों का पलायन जारी है। इस क्रम में जान बचाकर यूक्रेनी जनता पोलैंड, हंगरी, रोमानिया समेत अन्य पड़ोसी देश पहुंचने लगे हैं। यूएन का अनुमान है कि एक लाख से अधिक लोग यूक्रेन छोड़कर दूसरे देशों में चले गए हैं। इस हमले के एवज में रूस को अब भारी कीमत चुकानी पड़ेगी।

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प्रतिबंधों का सिलसिला

कनाडा ने गुरुवार को 58 रूसी व्यक्तियों और संस्थाओं पर प्रतिबंध लगा दिया। वहीं आज ही अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने भी यूक्रेन में रूस द्वारा मचाई गई तबाही को लेकर इसपर कड़े प्रतिबंधों का ऐलान कर दिया। इसके अलावा जी-7 देश रूस के खिलाफ प्रतिबंधों के विनाशकारी पैकेजों और अन्य आर्थिक उपायों पर आगे बढ़ने और पर सहमत हो गए हैं। जी-7 में कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, ब्रिटेन, अमेरिका और यूरोपीय यूनियन शामिल हैं

यूक्रेन पर रूस का तीन तरफ से हमला, बरसाई मिसाइलें

द्वितीय विश्व युद्ध के बाद यूरोप में सबसे बड़ी सैन्य कार्रवाई अब यूक्रेन में रूस कर रहा है। जमीनी, हवाई और समुद्री रास्ते से भीषण बमबारी से यूक्रेन की हवाई सुरक्षा व्यवस्था तबाह हो गई है। 74 सैन्य ठिकाने और 11 एयरबेस नष्ट हो गए। हालांकि रूस ने यूक्रेन के पांच रूसी विमान और कई टैंक ध्वस्त करने के दावे नकार दिया है। रूसी सेना का चेर्नोबिल परमाणु संयंत्र पर कब्जा हो गया है। रूसी हमले का शुरुआती निशाना यूक्रेन के सैन्य ठिकाने बने। चंद घंटों में ही यूक्रेन के 74 सैन्य ठिकानों और 11 एयरबेस को रूसी हवाई हमलों ने ध्वस्त कर दिया। इस दौरान राजधानी कीव पर मिसाइलों के हमले हुए और सीमावर्ती शहरों में लड़ाकू विमानों के हमले। देर रात तक हमले जारी रहे। यूक्रेन ने छह हमलावर विमानों और हेलीकाप्टरों को मार गिराने का दावा किया है, लेकिन रूस ने इस दावे को नकार दिया है। यूक्रेन ने रूसी हमले में 40 लोगों के मारे जाने और सैकड़ों के घायल होने की पुष्टि की है। कीव की ओर बढ़ रही रूसी सेना ने चर्चित चेर्नोबिल परमाणु संयंत्र पर कब्जा कर लिया है। रूस ने विद्रोहियों के कब्जे वाले डोनबास, बेलारूस और काला सागर से यूक्रेन पर हमला किया है।

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वाशिंगटन दूतावास में रूस का नंबर दो राजनयिक निष्कासित

अमेरिकी राजनयिक के रूसी निष्कासन के बदले वाशिंगटन में रूस के दूसरे क्रम के राजनयिक को निष्कासित कर दिया गया। इस निष्कासन का यूक्रेन पर रूसी हमले से संबंध नहीं है। यह कार्रवाई दूतावास के कर्मचारियों पर वाशिंगटन और मास्को के बीच लंबे समय से चल रहे आ रहे विवाद का हिस्सा है। इस बारे में विदेश विभाग ने बुधवार को रूसी दूतावास को सूचित किया था कि वह मंत्री काउंसलर सर्गेई ट्रेपेलकोव को निष्कासित कर रहा है। जो वर्तमान में राजदूत अनातोली एंटोनोव के तहत मिशन में नंबर दो हैं। रूस ने फरवरी के मध्य में मास्को से अमेरिकी मिशन उप प्रमुख बार्ट गोर्मन को निष्कासित कर दिया था।

पुतिन ने दी पश्चिमी देशों को सख्त चेतावनी

रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने यूक्रेन में किसी तरह के सैन्य दखल पर अमेरिका समेत सभी पश्चिमी देशों को गंभीर दुष्परिणामों की चेतावनी दी है। रूस के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया जखारोवा ने भी पश्चिमी देशों पर जवाबी प्रतिबंध लगाने की बात कही है।हमले के विरोध में यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदोमीर जेलेंस्की ने कहा हमने रूस से अपने राजनयिक संबंध तोड़ लिए हैं।

भारतीय समयानुसार तड़के 4.52 बजे रूस ने यूक्रेन पर सबसे पहले बड़ा साइबर अटैक किया। इसके बाद यूक्रेन के आसमान से रूसी लड़ाकू विमानों ने सैन्य ठिकानों पर बम और मिसाइलें दागनी शुरू कर दीं। रूस और बेलारूस की सीमा से टैंकों के दस्तों को यूक्रेन में घुसते देखा गया। वहीं काला सागर और आजोव सागर के तट की ओर से रूसी सैनिकों ने यूक्रेन में घुसकर हमला शुरू कर दिया। हमले में बम और मिसाइलों का जमकर इस्तेमाल किया गया। कीव (राजधानी), खार्कीव, ओडेसा और यूक्रेन के अन्य शहरों में जोरदार धमाकों की आवाज सुनी गई। यूक्रेन के सीमा रक्षकों द्वारा इस संबंध में तस्वीरें और वीडियो जारी कर कहा गया कि रूसी सैन्य वाहन क्रीमिया से यूक्रेन में दाखिल हुए। वहीं, रूसी सेना ने दावा किया कि उसने कुछ ही घंटों में यूक्रेन की पूरी वायु रक्षा प्रणाली नष्ट कर दी। यूरोपीय प्राधिकार ने यूक्रेन के वायु क्षेत्र को एक सक्रिय संघर्ष क्षेत्र घोषित कर दिया है। रूस के रक्षा मंत्रालय का कहना है कि सेना ने घातक हथियारों का इस्तेमाल यूक्रेन के एयरबेस व सैन्य ढांचों को निशाना बनाने के लिए किया।