कांवडयात्रा के दृष्टिगत एम्बुलेंस में सभी सुविधाएं एवं उपकरण सुनिश्चित करने के साथ ही यात्रा मार्गों से झाडियों की सफाई की जाए

सहारनपुर : जिलाधिकारी डॉ0 दिनेश चन्द्र की अध्यक्षता में अपरान्ह 04ः00 बजे कलेक्ट्रेट सभागार में संचारी रोग नियंत्रण अभियान एवं डेंगू व अन्य वेक्टर जनित रोगों पर प्रभावी नियंत्रण हेतु अर्न्तविभागीय समन्वय समिति तथा जिला स्वास्थ्य समिति की समीक्षा बैठक आहूत की गयी।
बैठक में जिलाधिकारी ने चिकित्सा सवास्थ्य एवं परिवार कल्याण, आईसीडीएस, ग्राम्य विकास एवं पंचायती राज विभाग, शिक्षा विभाग, नगर निगम, कृषि विभाग, पशुपालन विभाग, दिव्यांग कल्याण, स्वच्छ भारत मिशन, संस्कृति विभाग, चिकित्सा शिक्षा विभाग को निर्देश दिये कि अंतर्विभागीय सहयोग द्वारा संचारी रोगों पर प्रभावी नियंत्रण सुनिश्चित किया जाए।
संचारी रोग नियंत्रण अभियान 01 से 31 जुलाई एवं दस्तक अभियान 17 से 31 जुलाई तक चलाया जाएगा। इसके तहत प्रथम जनपद स्तरीय बैठक में ब्लॉक स्तर पर नोडल अध्यापकों का संवेदीकरण, स्थानीय निकायों पर संवेदीकरण बैठकें, ग्राम प्रधान और ग्राम विकास अधिकारी तथा दस्त अभियान के तहत चिकित्सालय पर आशा, ए0एन0एम0 तथा आंगनबाडी कार्यकत्रियों का संवेदीकरण कर प्रशिक्षित किया जाएगा।
ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में नालियों की साफ-सफाई, जलभराव का निस्तारण, झाडियों की कटाई, उथले हैण्डपंपों का चिन्हीकरण, तालाबांे को अपशिष्ट तथा प्रदूषण मुक्त रखना, कुपोषित बच्चों की पहचान एवं उपचार हेतु संदर्भन, आशा एवं ए0एन0एम0 कार्यकत्रियों के सहयोग से जनजागरण, शिक्षकों द्वारा अभिभावकों तथा छात्रों का दिमागी बुखार एवं अन्य वेक्टर जनित रोगों तथा जल जनित रोगों से बचाव रोकथाम एवं उपचार हेतु संवेदीकरण, शहरी क्षेत्रों में फॉगिंग, खुली नालियों को ढकने की व्यवस्था, आवासीय क्षेत्रों के आस-पास छछून्दर, चूहों के नियत्रण हेतु उपाय, जानवरों के पालन स्थल को स्वच्छ रखने हेतु जागरूकता आदि कार्यों के निर्देश संबंधित विभाग को दिए।
जिलाधिकारी ने जिला पंचायत राज अधिकारी को गांव में एकत्र होने वाले प्लास्टिक के गिलासों का समुचित निस्तारण, कांवड मार्गों पर सफाई के लिए विशेष कार्ययोजना बनाने, जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को बच्चों के माध्यम से घर-घर तक जागरूकता के दृष्टिगत स्कूलों मंे नोडल अधिकारी नियुक्त करने, कृषि विभाग को आवासीय क्षेत्रों के आस-पास छछून्दर, चूहों के नियत्रण हेतु दवाएं उपलब्ध करवाने के लिए शासन स्तर पर पत्र प्रेषित करने, शूकरबाडों को आबादी क्षेत्रों से दूर रखने हेतु जागरूक करने, प्रचार-प्रसार एवं व्यवहार परिवर्तन गतिविधियों को करने के निर्देश दिए। उन्होने कहा कि सभी विभाग निर्धारित उत्तरदायित्वों का अनुपालन सुनिश्चित करें।
जिला स्वास्थ्य समिति की बैठक में जिलाधिकारी ने मातृत्व सुरक्षा योजना, बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम, नियमित टीकाकरण, आशा कार्यक्रम समीक्षा, रोगी कल्याण, परिवार कल्याण, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम, स्कूल आई स्क्रीनिंग कार्यक्रम, प्रतिरक्षण कार्यक्रम आदि की समीक्षा की।
समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी सरकारी चिकित्सालयों में प्रसव की संख्या कम पाए जाने पर कडी नाराजगी व्यक्त करते हुए निर्देश दिये कि संस्थागत प्रसव को बढाया जाए। उन्होने कहा कि सभी चिकित्सक अपने दायित्वों का भली प्रकार से निर्वहन करें साथ ही चिकित्सालयों पर ही रात्रि में ठहरना सुनिश्चित करें। चिकित्सालयों पर स्वास्थ्य संबंधी बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराने के साथ ही शुद्ध पेयजल एवं साफ-सफाई सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।
जिलाधिकारी ने आशाओं की डोर टू डोर विजिट कम पाए जाने पर नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि लक्ष्यानुसार विजिट बढायी जाए ताकि टीकाकरण से छूटे बच्चों का टीकाकरण हो सके। टीकाकरण को बढाने के लिए नुक्कड नाटक सहित जागरूकता के अन्य माध्यमों का प्रयोग करने को कहा। टीकाकरण से इंकार करने वाले परिवारों की लिस्ट ग्राम प्रधानांे को दी जाए साथ ही संबंधित उपजिलाधिकारी को पत्र भेजा जाए। आयुष्मान योजना को प्राथमिकता देते हुए आई स्क्रीनिंग कार्यक्रम के तहत गांव में गरीब बुजुर्गों को चश्में वितरित करना सुनिश्चित किया जाए। टीबी उन्मूलन कार्यक्रम की प्रगति के बारे में जानकारी ली। राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम में लगी टीमों को निर्देश दिये कि स्कूलों में प्रतिमाह विजिट करें। चिकित्सालयों में जीवन रक्षक दवाओं एवं चिकित्सकों की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए साथ ही एम्बुलेंस में सभी आवश्यक सुविधाओं एवं उपकरणों को चैक कर कांवड के दृष्टिगत भी तैयार रखा जाए। आयुष्मान कार्ड की प्रगति को बढाने हेतु एमओआईसी, पंचायत सहायकों को सूची उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। विकासखण्ड वार प्रतिदिन होने वाली प्रगति की रिपोर्ट उपलब्ध कराई जाए।
राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के अन्तर्गत जिन ब्लाकों में कम प्रगति हुई है उनको प्रगति बढाने के सख्त निर्देश देते हुए मुख्य चिकित्साधिकारी को निरंतर समीक्षा करते रहने को कहा। आंगनबाडी केन्द्रों पर चिकित्सकों की विजिट के दृष्टिगत जिला कार्यक्रम अधिकारी को रिपोर्ट करने के निर्देश दिए। जननी सुरक्षा के तहत आशाओं को शत-प्रतिशत भुगतान करने, हैल्थ रैंकिंग डैशबोर्ड में प्रदेश में तीसरे स्थान पर होने पर संतुष्टि जाहिर करते हुए प्रथम स्थान के लिए प्रयास करने के निर्देश दिए। चिकित्सकों को मरीजों के साथ मधुर व्यवहार करने के निर्देश दिए।
बैठक में मुख्य विकास अधिकारी श्री विजय कुमार, मुख्य चिकित्साधिसकारी डॉ0 संजीव मांगलिक, जिला मलेरिया अधिकारी डॉ0 शिवांका गौड, जिला पंचायत राज अधिकारी श्री आलोक कुमार शर्मा, जिला कार्यक्रम अधिकारी श्रीमती आशा त्रिपाठी तथा समस्त सीएचसी एवं पीएचसी से चिकित्सक मौजूद रहे।