राजनीति में कैसे हुई थी पीएम मोदी की एंट्री? वो एक फोन कॉल और बन गए थे गुजरात के मुख्यमंत्री

भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आज 17 सितंबर को जन्मदिन है। पीएम मोदी 75 साल के हो गए हैं। पीएम मोदी का राजनीतिक करियर मिसाल की तरह रहा है। पीएम मोदी शायद भारत के उन कुछ नेताओं में से एक हैं जिन्होंने अपने करियर में कभी चुनाव में हार नहीं झेली। लेकिन क्या आप जानते हैं कि नरेंद्र मोदी की राजनीति में एंट्री कैसे हुई थी? वह मुख्यमंत्री कैसे बने थे? आइए जानते हैं इस दिलचस्प किस्से के बारे में।
नरेंद्र मोदी की राजनीति में एंट्री कब हुई?
पीएम मोदी का जन्म 17 सितंबर 1950 को गुजरात के वड़नगर में हुआ था। उन्होंने गुजरात विश्वविद्यालय से राजनीति विज्ञान में एमए की पढ़ाई की है। शुरुआती दिनों में नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के साथ काम किया। उन्होंने गुजरात में भारतीय जनता पार्टी का क्षेत्रीय आयोजक के रूप में भी काम किया। जानकारी के मुताबिक, पीएम मोदी ने साल 1987 में राजनीति में एंट्री ली। वह 1988 में गुजरात बीजेपी संघ के महासचिव बने। इसके बाद वह 1995 में, नरेंद्र मोदी को भाजपा की राष्ट्रीय संघ के सचिव बने। उन्होंने 1995 और 1998 के गुजरात विधानसभा चुनावों में पार्टी के लिए प्रचार में अहम किरदार निभाया। इस कारण भाजपा गुजरात में सत्ता में आई।
इसके अलावा पीएम मोदी ने लालकृष्ण आडवाणी की सोमनाथ से अयोध्या रथ यात्रा और मुरली मनोहर जोशी की कन्याकुमारी से कश्मीर तक के कार्यक्रम में भी अहम भूमिका निभाई। नरेंद्र मोदी ने इसके बाद विभिन्न राज्यों में पार्टी संगठन सुधारने की जिम्मेदारी भी निभाई। नरेंद्र मोदी साल 1998 में भाजपा के महासचिव बने।
मुख्यमंत्री कैसे बने नरेंद्र मोदी?
ये साल 2001 की बात है जब नरेंद्र मोदी दिल्ली में पार्टी के लिए काम कर रहे थे। तब वह सीनियर कैमरामैन गोपाल बिष्ट के दाह संस्कार में गए हुए थे। हवाई दुर्घटना में माधवराव सिंधिया की मौत हो गई थी और उनके साथ जान गंवाने वाले पत्रकारों में बिष्ट भी शामिल थे। यहां नरेंद्र मोदी को तत्कालीन पीएं अटल बिहारी वाजपेई का फोन आया। अटल जी ने पूछा- “भई कहां हो?” नरेंद्र मोदी ने कहा- “मैं श्मशान में हूं।” इस पर अटल जी ने कहा- “तुम श्मशान में हो, मैं तुमसे अब क्या बात करूं।” इसके बाद नरेंद्र मोदी शाम को अटल जी से मिलने के लिए प्रधानमंत्री आवास पहुंचे। यहां अटल जी ने कहा- “दिल्ली ने तुम्हें बहुत मोटा बना दिया है! तुम्हें गुजरात वापस जाना चाहिए!”
नरेंद्र मोदी का मुख्यमंत्री के तौर पर करियर
नरेंद्र मोदी ने 7 अक्टूबर 2001 को 51 साल की उम्र में गुजरात के मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ली। वह राज्य के 14वें मुख्यमंत्री बने। इसके बाद वह 14 साल तक गुजरात के मुख्यमंत्री रहे जो कि एक रिकॉर्ड है। उन्होंने 2002, 2007 और 2012 में हुए गुजरात विधानसभा चुनाव में बहुमत के साथ भाजपा को लगातार जीत दिलाई।
प्रधानमंत्री के तौर पर नरेंद्र मोदी का करियर
नरेंद्र मोदी ने साल 2014 में लोकसभा का चुनाव लड़ा। उनके नेतृत्व में भाजपा ने भारी बहुमत के साथ चुनाव जीता और नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री पद की शपथ ली। आपको बता दें कि साल 1984 के बाद पहली बार देश में किसी एक पार्टी को बहुमत मिला था। इसके बाद उन्होंने 2019 लोकसभा चुनाव में भी पार्टी को पूर्ण बहुमत के साथ जीत दिलाई। साल 2024 के लोकसा चुनाव में भी नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भाजपा ने अकेले 240 सीटें प्राप्त की और NDA ने आसानी से बहुमत का आंकड़ा पार कर लिया। नरेंद्र मोदी ने एक बार फिर से प्रधानमंत्री पद की शपथ ली।
