ऐतिहासिक और यादगार रही तीसरे दिन की सांस्कृतिक शाम

ऐतिहासिक और यादगार रही तीसरे दिन की सांस्कृतिक शाम
  • सहारनपुर में जनमंच सभागार में सांस्कृतिक कार्यक्रम में प्रस्तुति देते नन्हें-मुन्ने कलाकार।

सहारनपुर [24CN]। नगर निगम द्वारा आयोजित दीपावली मेले में तीसरे दिन की सांस्कृतिक शाम ऐतिहासिक और यादगार रही। आधी रात तक चले सांस्कृतिक कार्यक्रमों में विभिन्न संस्थाओं के कलाकारों ने अपनी एक से बढ़कर एक प्रस्तुति से दर्शकों की खूब वाहवाही लूटी। समारोह का शुभारंभ जिला जज अश्वनी कुमार त्रिपाठी, परिवार न्यायालय के प्रधान न्यायधीश नरेन्द्र कुमार, नगरायुक्त ज्ञानेंद्र सिंह आदि ने मां शारदा के समक्ष दीप प्रज्ज्वलित कर किया।

इस अवसर पर समाजसेवी त्रिलोक चंद गुप्ता, प्रवासी भारतीय शिवांश जेटली, एडीएम प्रशासन डॉ.अर्चना द्विवेदी व एसपी सिटी राजेश कुमार का निगम की ओर से शॉल ओढ़ाकर व स्मृति चिह्न देकर अभिनंदन किया गया। नाट्स एकेडमी की बालिकाओं के स्वागत नृत्य से कार्यक्रमों की शुरुआत हुयी। उसके बाद योगेश पंवार के निर्देशन में मानसी गुरुकुल की नाट्य प्रस्तुति लोगों को यह संदेश देने में सफल रही कि छोटी-छोटी गलतियों, गलत फहमियों और नासमझी के कारण टूट रहे परिवारों को परस्पर बातचीत और सुलह से कैसे समझाया जा सकता है और जिला विधिक सेवा प्राधिकरण इस दिशा में क्या और कैसे मदद कर सकता है। मानसी की ऑक्सीजन शॉर्ट फिल्म को भी सराहा गया।

इसके पश्चात जहां वैष्णवी नृत्यालय की प्रस्तुति महारास में बालक बालिकाओं के मनमोहक नृत्य ने खूब तालियां बटोरी वहीं सभागार में फूलों के होली उत्सव का सा ऐसा माहौल बना कि हर दर्शन महारास के रंग में रंगकर झूमता नजर आया। प्रिया बजाज के निर्देशन में राइजिंग दिवा एकेडमी की चीरहरण के समय भगवान कृष्ण द्वारा की जाने वाली द्रोपदी की सहायता पर आधारित प्रस्तुति ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। यह प्रस्तुति महिलाओं के सम्मान का महत्व दर्शाने में सफल रही। अभि धीमान के निर्देशन में ड्यू ट्रॉकर्स द्वारा वन से श्रीराम के अयोध्या आगमन और उस समय दीपावली के आयोजन पर आधारित प्रस्तुति सामयिक और शानदार रही। सेंटमेरी गल्र्स स्कूल की नारी शक्ति प्रस्तुति जहां बालिकाओं को मैरीकॉम और सुनीता विलियम्स की तरह लीक से हटकर कुछ बड़ा करने के लिए प्रेरित कर गयी वहीं सेंट मेरीज स्कूल की मार्शल आर्ट प्रस्तुति छात्राओं में विपरीत परिस्थितियों का डटकर मुकाबला करने की सीख दे गयी।

दिनेश तेजान के निर्देशन में रंगयात्रा नाट्य एवं कला संस्थान की प्रस्तुति भगतसिंह, राजगुरु और सुखदेव सहित अनेक आजादी के दीवानों को फांसी दिये जाने की स्मृतियों को ताजा करते हुए आयोजन को अमृत महोत्सव से जोडऩे में सफल रही। इसके अलावा मदन भारती और प्रवेश त्यागी के निर्देशन में स्पेस सोसायटी का सोलो एक्ट, डेलमंड स्कूल का नृत्य, रिवेंज ऐकेडमी के साहिल शर्मा की म्यूजिकल प्रस्तुति ने भी दर्शकों का भरपूर मनोरंजन किया। संचालन डॉ. वीरेन्द्र आजम, राकेश शर्मा व संदीप शर्मा ने किया।