‘हिंदू को माला व भाला साथ रखना चाहिए’, बाबा बागेश्वर का बड़ा बयान, वक्फ बोर्ड बंद करने की मांग

‘हिंदू को माला व भाला साथ रखना चाहिए’, बाबा बागेश्वर का बड़ा बयान, वक्फ बोर्ड बंद करने की मांग

भीलवाड़ाः शहर के कुमुद विहार में प्रेस कांफ्रेंस के दौरान कथा वाचक पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री उर्फ बाबा बागेश्वर ने गुरुवार को कहा कि देश के प्रत्येक हिंदू को माला व भाला साथ रखना चाहिए। आरएसएस चीफ मोहन भागवत के एक बयान पर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा कि रक्षा करने की सभी को आवश्यकता है। यह केवल संघ का ही दायित्व नहीं है। भारत में रहने वाले प्रत्येक व्यक्ति का संवैधानिक अधिकार भी है।

उन्होंने कहा कि हमें अपनी संस्कृति, परिवार की रक्षा करना है। इसके लिए सरकार हमें शस्त्र लाइसेंस भी देती हैं। संघ के साथ प्रत्येक भारतीय सनातन हिंदुओं को माला व भाला दोनों रखने की आवश्यकता है। जो राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक में कहा कि संतों की रक्षा के लिए स्वयंसेवक बैठे हैं। वह बहुत अच्छी बात है। मैं मोहन भागवत के बयान का स्वागत करता हूं।

वक्फ बोर्ड बंद करने की मांग

धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री उर्फ बाबा बागेश्वर ने कहा कि देश में वक्फ बोर्ड है तो सनातन बोर्ड क्यों नहीं होना चाहिए। क्या हम वोट नहीं देते हैं। सनातन बोर्ड का इसलिए गठन होना चाहिए। क्योंकि वक्फ बोर्ड बनाकर कोई कहते हैं कि देश की संसद व मंदिर वक्फ बोर्ड की जमीन पर है। कल के दिन हमारे मकान भी वक्फ बोर्ड ले लेगा। देश में वक्फ बोर्ड बंद हो या सनातन बोर्ड का गठन हो।

देश में धर्म के नाम पर राजनीति दुर्भाग्यपूर्ण

बंटोगे तो कटोगे के नारे को लेकर पंडित धीरेंद्र के शास्त्री ने कहा कि इस बयान को देने वाले व्यक्ति ने राजनीति के नाते कहा है तो मैं किसी राजनेता के बयान पर टिप्पणी नहीं करता। अगर संत धर्म व आध्यात्म के नाते बयान दिया है तो बहुत सुंदर कहा है। यही हमारा ध्येय है। इसके लिए 4 जुलाई को हमने घोषणा की थी कि इस देश में जात-पात, ऊंच-नीच व भेदभाव मिटाने के लिए पैदल यात्रा निकालेंगे। यह 160 किलोमीटर की यात्रा होगी। वर्तमान में यह जात-पात ऊंच-नीच मिटाने को लिए संकल्प दिलाया जाएगा। धर्म से राजनीति चलती है। राजनीति से धर्म नहीं चलता है।

बाबा बागेश्वर ने कहा कि राजनीति में धर्म नहीं है तो समझ लो राजनीति अंधी है। मैं एक बात स्पष्ट रूप से बताना चाहता हूं कि राजनीति में धर्म का उपयोग वोट बैंक के लिए नहीं किया जाना चाहिए। यह सबसे बड़ा देश का दुर्भाग्य है कि राजनीति मे धर्म का प्रयोग इस देश का राजनेता अपनी रोटियां सेकने के लिए करते हैं।

बंद हो धर्मांतरण

हिंदुओं की बहन बेटियों को लेकर कहां की अगर हमारी बहन बेटियों को छेड़ता है। हम तो छोड़ेंगे नहीं क्योंकि यह 2024 वाला जगा हुआ हिंदू है। 2010 वाला हिंदू नहीं। पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने उदयपुर कन्हैयालाल हत्याकांड सहित भीलवाड़ा में सांप्रदायिक घटनाओं का भी जिक्र किया।

शास्त्री ने कहा कि धर्मांतरण व सनातन की बात करना इस देश में तलवार की धार पर चलना है। यह तो पता है कि यह प्रायोजित तरीके से निपटाएंगे लेकिन हम कुछ करके जाएंगे। देश में कोई मौलवी, पादरी गंदा काम करता है तो उनके मजहब के लोग बिल्कुल मुंह नहीं खोलते हैं। लोग सनातन धर्म के गुरुओं में गुण देखने के बजाय अवगुण देखते हैं।


विडियों समाचार

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