नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश में बुलडोजर की कार्रवाई पर रोक की मांग वाली जमीयत उलेमा ए हिंद की याचिका पर आज को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होगी। याचिका में यूपी सरकार को ये सुनिश्चित करने के लिए निर्देश देने की मांग की गई है कि राज्य में हालिया हिंसा के आरोपियों की संपत्तियों पर अब और बुलडोजर न चले। जमीयत ने ही अप्रैल में दिल्ली के जहांगीरपुरी इलाके में अतिक्रमण हटाओ कार्रवाई के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था। बता दें कि दो दिन पहले ही मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट और हाई कोर्ट के कुछ रिटायर्ड जजों और वकीलों ने सीजेआई को खत लिखकर यूपी में बुलडोजर कार्रवाई का संज्ञान लेने और उस पर सुनवाई करने की अपील की थी।
मुस्लिम संगठन जमीयत उलेमा ए हिंद ने सुप्रीम कोर्ट में दाखिल अर्जी में कहा गया है कि किसी भी प्रॉपर्टी को बिना किसी नोटिस के ध्वस्त नहीं किया जा सकता है। ध्वस्तीकरण के लिए एक तय प्रक्रिया है और तय कानूनी प्रावधान और प्रक्रिया के तहत ही संपत्ति को ध्वस्त किया जा सकता है। उसकी याचिका पर सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस एएस बोपन्ना और जस्टिस विक्रम नाथ की बेंच आज सुनवाई करेगी।
जमीयत ने प्रयागराज में पिछले जुमे को हुई पत्थरबाजी के कथित मास्टरमाइंड जावेद अहमद की संपत्ति पर कार्रवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की थी। इसमें गुहार लगाई गई है कि कि शीर्ष अदालत यूपी सरकार को यह सुनिश्चित करने को कहे कि तयशुदा कानूनी प्रक्रिया के तहत ही ध्वस्तीकरण की कार्रवाई हो अन्यथा नहीं।