गैंग्स ऑफ कनाडा… जानिए कैसे खूनी जंग में तब्दील हो रही वर्चस्व की लड़ाई? गैंगस्टर सिप्पू गिरफ्तार, Kaps cafe निशाने पर
कनाडा में इन दिनों मुख्यतौर पर 2 गैंग हैं, जो वहां और भारत में बैठे कुछ आका इसे ऑपरेट कर रहे हैं। इसे गैंग्स ऑफ कनाडा भी कहा जाता है। पहला गैंग गोल्डी बराड़ और रोहित गोदारा का है। दूसरा गैंग लॉरेंस बिश्नोई-हेरी बॉक्स-गोल्डी ढिल्लों का है। कुछ महीने पहले तक ये दोनों गैंग एक साथ ऑपरेट करते थे, लेकिन पिछले कुछ महीने पहले गुजरात की जेल में बंद लॉरेंस बिश्नोई और कनाडा में बैठे गोल्डी बराड़ दोनों के बीच पैसों को लेकर हुए मनमुटाव के बाद ये अलग हो गए।
खूनी जंग में बदली वर्चस्व की लड़ाई
गैंगस्टर रोहित गोदारा ने गोल्डी बराड़ का हाथ थामा तो गोल्डी ढिल्लों और हैरी बॉक्सर लॉरेंस के इशारे पर कनाडा से गैंग को ऑपरेट करने लगे। एक्सटॉरशन के धंधे को लेकर अब दोनों गैंग में वर्चस्व को लड़ाई खूनी जंग में तब्दील हो चुकी है।
दुबई का सिप्पा मर्डर केस
दुबई में हाल ही में हुआ सिप्पा मर्डर केस इसी वर्चस्व की इस खूनी जंग का हिस्सा था। गैंगस्टर सिप्पा दुबई में लॉरेंस गैंग का पूरा काला धंधा संभालता था लेकिन वो दोनों गैंग अलग हुए तो सिप्पा लॉरेंस के साथ ही था और यही बात गोल्डी बराड़ और रोहित गोदारा को नागंवार गुजरी। इसीलिए दुबई के रेगिस्तान में सिप्पा की पेंचकस से गला कटी लाश बरामद हुई, जिसकी जिम्मेदारी सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर गोल्डी और रोहित गोदारा ने ली। दुबई में लॉरेंस गैंग का पूरा हिसाब किताब सिप्पा के पास ही था।
कौन है बंधु मान सिंह
पंजाब का रहने वाले बंधु मान सिंह कनाडा में बैठकर लॉरेंस गैंग के लिए हथियार मुहैया करवाता था। बंधु मान लॉरेंस के कनाडा में बैठे करीबी गोल्डी ढिल्लों के संपर्क में था। साथ ही पाकिस्तानी डॉन हैरी चट्टा का भी करीबी है बंधु मान सिंह। हिंदुस्तान के ड्रोन से ड्राप किए जाने वाले हथियारों की क्रॉस बॉर्डर तस्करी में इसी हैरी चट्टा का नाम सामने आया है जो कि ISI के इशारे पर काम करता है। पाकिस्तान से हिंदुस्तान हथियारों की खेप बंधुमान सिंह इसी हैरी चट्टा की मदद से करता है।
Kaps cafe पर तीन बार फायरिंग
जांच में सामने आया है कि लॉरेंस के करीबी गोल्डी ढिल्लों को हथियारों की सप्लाई गैंगस्टर सोनू खत्री उर्फ राजेश (कनाडा में मौजूद) करवाता था, जिसमें उसकी मदद बंधु मान सिंह करता रहा। कपिल शर्मा के कनाडा स्थित Kaps cafe पर तीन बार हुई फायरिंग के लिए हथियार सोनू खत्री के कहने पर बंधु मान सिंह ने ही मुहैया करवाए थे।
लुधियाना से बंधु मान सिंह गिरफ्तार
कपिल शर्मा के Kaps Cafe पर इसी साल 10 जुलाई-7 अगस्त-16 अक्टूबर को फायरिंग में गोल्डी ढिल्लों के कहने पर सोनू खत्री ने अपने चचेरे भाइयों दलजोत और गुरजोत से करवाई थी। कैप्स कैफे पर तीनों बार फायरिंग दलजोत और गुरजोत ने ही की। जिन्हें हथियार और गाड़ी बंधु मान सिंह ने मुहैया करवाई। बंधु मान सिंह इसी 23 अगस्त को कनाडा से भारत आया था लेकिन इसकी जानकारी दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच को लगी थी। इसके बाद इसे लुधियाना से गिरफ्तार कर लिया गया।
गैंगस्टर सिप्पू को कनाडा पुलिस ने किया गिरफ्तार
गोल्डी ढिल्लों गैंग के सबसे बड़े गैंगस्टर सिप्पू को कनाडा पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। दो दिन पहले ये गिरफ्तारी हुई थी। सिप्पू ने ही गोल्डी ढिल्लो के कहने पर बंधु मान सिंह को कैप्स कैफे पर फायरिंग के लिए लॉजिस्टिक सपोर्ट करने के लिए कहा था। बंधु मान सिंह ने कैप्स कैफे पर फायरिंग के लिए दलजोत और गुरजोत को हथियार और गाड़ी उपलब्ध करवाई थी। दलजोत और गुरजोत ने ही 10 जुलाई, 7 अगस्त और 16 अक्टूबर को कैप्स कैफे पर फायरिंग की थी।
कपिल शर्मा के Kaps Cafe पर कब-कब हमला हुआ है। इन हमलों के पीछे किन गैंग और गुर्गों का हाथ रहा है। यहां जानिए…
- 10 जुलाई 2025: पहला हमला 10 जुलाई, 2025 की सुबह हुआ, जब एक चलती गाड़ी से कैफे पर कई गोलियां चलाई गईं। शुरू में बैन खालिस्तानी मिलिटेंट ग्रुप बब्बर खालसा इंटरनेशनल से जुड़े हरजीत सिंह लाडी ने ज़िम्मेदारी ली थी, जिसने कपिल शर्मा के टेलीविजन शो में निहंग सिखों की कथित बेइज्जती को इसका मकसद बताया था। बाद में विदेश में रहने वाले गैंगस्टर गोल्डी ढिल्लों ने भी इस घटना की जिम्मेदारी ली।
- 7 अगस्त 2025: दूसरा हमला 7 अगस्त, 2025 को हुआ, जिसमें एक बार फिर एक गाड़ी से गोलियां चलाई गईं। इस बार गैंगस्टर गोल्डी ढिल्लों और कुलवीर सिद्धू ने मिलकर सोशल मीडिया पोस्ट के ज़रिए ज़िम्मेदारी ली और फायरिंग को ‘चेतावनी’ बताया। उन्होंने आरोप लगाया कि कपिल शर्मा ने उनके कॉल्स को नजर अंदाज़ किया।
- 16 अक्टूबर 2025: तीसरा और सबसे नया हमला 16 अक्टूबर, 2025 को हुआ, जब एक बंदूकधारी ने फिर से उस जगह पर कई राउंड फायरिंग की। घटना के बाद कुलबीर सिद्धू और गोल्डी ढिल्लों दोनों ने हमले की जिम्मेदारी ली। हालांकि कोई घायल नहीं हुआ, लेकिन इन घटनाओं से काफी नुकसान हुआ और कनाडा में सुरक्षा की चिंता बढ़ गई।
