देवबंदी उलमा बोले- देश में बनाया जाए दुष्कर्मियों को चौराहे पर फांसी देने का कानून
हैदराबाद में पशु चिकित्सक के साथ हुए सामूहिक दुष्कर्म और उसके बाद उसकी हत्या किए जाने को लेकर उलमा ने रोष व्यक्त किया है। उनका कहना है कि सरकार को दुष्कर्मियों को चौराहे पर फांसी की सजा दिए जाने के लिए कानून बनाना चाहिए।
इत्तेहाद उलमा-ए-हिंद के उपाध्यक्ष मौलाना मुफ्ती असद कासमी का कहना है कि देश की बेटियों के अपमान से हर भारतीय का सिर शर्म से झुक गया है। हैदराबाद में युवा महिला डॉक्टर के साथ दुष्कर्म और उसके बाद उसकी हत्या किए जाने की घटना घोर निंदनीय है। उन्होंने कहा कि आए दिन देश में बेटियों के साथ हो रहे घिनौने अपराधों के लिए जहां समाज की बीमार मानसिकता जिम्मेदार है वहीं लचर कानून व्यवस्था से भी अपराधी बेखौफ नजर आते हैं।
मुफ्ती असद ने कहा कि मां, बहन और बेटियों के साथ इस तरह की हरकत करने वाले कोई विदेशी नहीं है यह इसी देश और समाज के हैं। उन्होंने कहा कि दुष्कर्मियों के मुकदमों का फैसला 15 दिन के भीतर होना चाहिए और उन्हें चौराहे पर फांसी देने के लिए कानून बनाया जाना चाहिए।
तंजीम अबना-ए-दारुल उलूम के राष्ट्रीय महासचिव मौलाना मुफ्ती याद इलाही कासमी ने कहा कि यह दुर्भाग्य है कि देश में बेटियों के साथ हैवानियत करने वालों को कड़ी सजा दिलाने के लिए सड़क पर उतरकर लोगों को प्रदर्शन करना पड़ रहा है और सरकार सोई हुई है।
मुफ्ती याद इलाही ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकारों को चाहिए कि वह बहन बेटियों की सुरक्षा सुनिश्चित करें और देश की जनता को यह यकीन दिलाए कि अब जो हुआ वो आगे नहीं होगा।