कोरोनावायरस का कहर: चीन में अब तक 304 लोगों की मौत, 14 हजार हुई संक्रमित मरीजों की संख्या
- चीन में वायरस से संक्रमित 45 नए मरीज मिले
- वुहान से 324 भारतीय किए गए एयरलिफ्ट
- छह संदिग्ध मरीजों को एयरपोर्ट पर रोका
- छावला के आईटीबीपी कोरांटीन सेंटर में भर्ती किए गए 104 नागरिक
- दो सप्ताह तक होगी निगरानी
चीन के वुहान शहर से शुरू हुआ कोरोनावायरस का कहर पूरी दुनिया में फैल गया है। ताजा जानकारी के मुताबिक चीन में कोरोनावायरस के कारण हुई मौतों की संख्या 304 हो गई है, जबकि चीन की सरकार के हवाले से जानकारी दी गई है कि संक्रमित मरीजों की संख्या बढ़कर 14 हजार तक पहुंच गई है। बता दें कि अमेरिका ने कोरोनावायरस के प्रकोप को देखते हुए पिछले दो सप्ताह में चीन की यात्रा पर गए विदेशी नागरिकों के देश में प्रवेश पर प्रतिबंध लगाया हुआ है।
मान के जरिये एयरलिफ्ट कर लिया गया। हालांकि बुखार से पीड़ित छह भारतीय नागरिकों को कोरोना वायरस के संदिग्ध लक्षणों के चलते चीनी अधिकारियों ने विमान में चढ़ने की अनुमति नहीं दी। अन्य 324 लोगों को लेकर विमान ने सुबह 7.30 बजे दिल्ली के इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर लैंड किया।
भारतीय अधिकारियों के मुताबिक, इन 324 भारतीयों में 211 छात्र, 110 पेशेवर कामगार और 3 खदानकर्मी शामिल हैं। बता दें कि चीन के हुबेई प्रांत का वुहान शहर ही जानलेवा कोरोनावायरस के फैलाव का अधिकेंद्र आंका गया है। यह विमान शुक्रवार दोपहर करीब 1.17 बजे दिल्ली एयरपोर्ट से वुहान शहर के लिए रवाना हुआ था। अधिकारियों के मुताबिक, एयरलिफ्ट किए गए सभी लोगों को पहले ही बता दिया गया था कि वुहान एयरपोर्ट पर विमान में चढ़ने से पहले उन्हें मेडिकल टेस्ट से गुजरना होगा और दिल्ली एयरपोर्ट पर उतरने के बाद भी उन्हें 14 दिन तक चिकित्सकीय निगरानी में रखा जाएगा।
विमान उतरने के बाद 104 यात्रियों को दक्षिणपश्चिम दिल्ली के छावला क्षेत्र में आईटीबीपी परिसर के अंदर बनाए गए विशेष कोरांटीन सेंटर में भर्ती कराया गया है। इनमें 88 महिलाएं, 10 पुरुष और 6 बच्चे शामिल हैं। अन्य 220 लोगों को दिल्ली के करीब मानेसर में भारतीय सेना की तरफ से बनाए गए 300 बिस्तर वाले कोरोंटीन सेंटर में भेजा गया है। अधिकारियों का कहना है कि चीन से लाए जा रहे सभी लोगों पर दो सप्ताह तक डॉक्टरों की एक विशेषज्ञ टीम निगरानी रखकर उनमें संक्रमण के प्रभाव का आकलन करेगी।
भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) के प्रवक्ता विवेक कुमार पांडे ने बताया कि विमान से आने वाले सभी यात्रियों की सबसे पहले आईजी एयरपोर्ट पर ही थर्मल स्क्रीनिंग की गई। इसके बाद इन सभी की छावला क्षेत्र के कोरांटीन सेंटर में डॉक्टरों ने दोबारा जांच की। उन्होंने बताया कि 600 बिस्तर वाले इस कोरांटीन सेंटर में 25 डॉक्टरों के 24 घंटे मौजूद रहने की व्यवस्था की गई है।
इनमें 15 डॉक्टर सफदरजंग अस्पताल के हैं, जबकि शेष 10 डॉक्टर आईटीबीपी के हैं। उन्होंने बताया कि एक आवासीय भवन में बनाए गए केंद्र में किचन और बाथरूमों की सुविधा के साथ ही टेलीफोन और वाईफाई सरीखी कम्युनिकेशन सुविधाएं भी उपलब्ध कराई गई हैं।