नई दिल्ली। आगामी गुजरात और हिमाचल प्रदेश चुनाव को लेकर कांग्रेस ने अभी से तैयारी करनी शुरू कर दी है। कांग्रेस ने दोनों राज्यों के लिए पर्यवेक्षक (Senior Observers) के नामों की घोषणा की है। मंगलवार को समाचार एजेंसी एएनआइ ने कांग्रेस के हवाले से बताया कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को गुजरात के लिए कांग्रेस का सीनियर आब्जर्वर नियुक्त किया गया है। टीएस सिंह देव और मिलिंद देवड़ा आब्जर्वर बनाए गए हैं। इसके साथ ही छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को पार्टी ने हिमाचल प्रदेश का सीनियर आब्जर्वर नियुक्त किया है। सचिन पायलट और प्रताप सिंह को हिमाचल प्रदेश का आब्जर्वर बनाया गया है।

माना जा रहा है कि आगामी गुजरात विधानसभा चुनाव विपक्षी कांग्रेस के लिए सबसे कठिन चुनावों में से एक होने की संभावना है। कांग्रेस को गुजरात में दोहरी चुनौती का सामना करना पड़ेगा। गुजरात प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का गृह राज्य है। सत्तारूढ़ भाजपा को हराने के लिए कांग्रेस को यहां काफी मशक्कत करनी पड़ेगी।

कांग्रेस के लिए काफी मुश्किलों भरा हैं गुजरात चुनाव

हालांकि, राज्य कांग्रेस के एक प्रवक्ता ने दावा किया कि लोग इस साल के अंत में होने वाले गुजरात चुनावों में उनकी पार्टी को वोट देंगे, क्योंकि वे दो दशकों से अधिक समय से भाजपा के ‘कुशासन’ से तंग आ चुके हैं। लेकिन, राजनीतिक जानकारों का मानना है कि कांग्रेस अभी अपने संकट काल से गुजर रही है। इसलिए कांग्रेस के लिए यह चुनाव जीतना काफी मुश्किल रहेगा।

कांग्रेस में शामिल हुए हिमाचल प्रदेश के पूर्व भाजपा अध्यक्ष

हिमाचल प्रदेश के पूर्व भाजपा प्रदेश अध्यक्ष खिमी राम शर्मा मंगलवार को दिल्ली में प्रदेश पार्टी प्रभारी राजीव शुक्ला की मौजूदगी में कांग्रेस पार्टी में शामिल हो गए। इस दौरान हिमाचल प्रदेश कांग्रेस के सह प्रभारी गुरकीरत सिंह और हिमाचल कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सुधीर शर्मा भी मौजूद रहे। कुल्लू के बंजार जिले से दो बार विधायक रह चुके खमी राम शर्मा कथित तौर पर 2017 के विधानसभा चुनावों में टिकट नहीं दिए जाने से नाराज थे।