सूर्यग्रहण में इस मंत्र का करें जाप, सारे दोष होंगे खत्म
New Delhi : दिवाली के इस महापर्व के अंतकाल में सूर्य ग्रहण का प्रकोप देखने को मिल सकता है, बता दें दिवाली के अगले दिन यानी की तारीख 25 अक्टूबर को सुबह 4 बजे से इसका सूतक काल लग जाएगा और इसका असर सूर्यास्त होने के बाद तक दिखाई देगा.बता दें शाम 6:33 तक ग्रहण का सूतक काल समाप्त होगा. इसका असर भारत में भी देखने को मिलेगा.ऐसे में आइए हम आपको अपने इस लेख में बताते हैं कि सबर्य ग्रहण के दौरान हमें कौन-कौन से कार्य करना वर्जित है.
धार्मिक ग्रंथ के अनुसार ग्रहण लगने के दौरान क्या नहीं करना चाहिए ?
बता दें धार्मिक ग्रंथों के अनुसार ग्रहण लगने के दौरान सूतक काल शुरु हो जाता है, सूतक काल में हमें कोई शुभ कार्य नहीं करना चाहिए,बता दें कि सूतक काल में मंदिर में भगवान की पूजा-अर्चना करना वर्जित होता है, इस दिन सारे मंदिरों के कपाट बंद कर दिए जाते हैं.इसी के साथ खाना-पीना भी वर्जित होता है, और अगर आप खाना बना लिए हैं, तो उसमें तुलसी के पत्ते डालकर खाने को सुरक्षित रख दें.ग्रहण के दौरान साफ-सफाई नहीं करना चाहिए. ग्रहण के दौरान सोना नहीं चाहिए.
इन राज्यों में दिखेगा आखिरी सूर्य ग्रहण-
साल समाप्त होने को आ गाया है, ऐसे में भारत में देखा जाए तो इस साल अंतिम सूर्य ग्रहण बेंगलुरू, चेन्नई, उज्जैन, वाराणसी, नई दिल्ली और मथूरा में दिखाई देगा, बाकि असम के आसपास सूर्य ग्रहण नहीं दिखाई देगा.
सूर्य ग्रहण पर इस मंत्र का करें जाप-
सूर्य ग्रहण लोगों के लिए कहीं लाभ तो कहीं हानि लेकर आया है.इस दिन इष्ट देव की साधना करना बेहद शुभ माना जाता है, ऐसा करने से
आपके जीवन में कोई बाधा नहीं आएगी. ॐ घृणि: सूर्यादित्योम, ऊँ घृणि: सूर्य आदित्य श्री, ॐ ह्रां ह्रीं ह्रौं स: सूर्याय: नम:, ऊँ ह्रीं ह्रीं सूर्याय नम: इस मंत्र का जाप करने से आपके जीवन खुशहालमय हो जाएगा.