दावा : भूषण स्टील का पूर्व सीएमडी सिंघल ही था बैंक कर्ज घोटाले का मास्टरमाइंड

दावा : भूषण स्टील का पूर्व सीएमडी सिंघल ही था बैंक कर्ज घोटाले का मास्टरमाइंड

ईडी ने शुक्रवार को करीब 47 हजार करोड़ रुपये के बैंक कर्ज घोटाले से जुड़े मनी लान्ड्रिंग मामले में भूषण पावर एंड स्टील लिमिटेड (बीपीएसएल) के पूर्व सीएमडी संजय सिंघल और अन्य के खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर दी। विशेष न्यायधीश अरुण भारद्वाज की अदालत के समक्ष दाखिल चार्जशीट में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने संजय सिंघल को इस कर्ज घोटाले का ‘मास्टरमाइंड’ करार दिया है।

जस्टिस भारद्वाज ने 24 व्यक्तियों व कंपनी को आरोपी मानकर दाखिल की गई चार्जशीट का संज्ञान लेते हुए सिंघल को 21 जनवरी को पेश करने के लिए प्रोडक्शन वारंट जारी किया है। सिंघल को इस मामले में लंबी पूछताछ के बाद पिछले साल 22 नवंबर को ईडी ने मनी लान्ड्रिंग निरोधक कानून (पीएमएलए) के तहत गिरफ्तार किया था। इससे पहले ईडी के विशेष लोक अभियोजक नीतेश राणा ने चार्जशीट में अदालत को बताया कि कंपनी और उसके निदेशकों ने जानबूझकर कर्जदाता बैंकों की रकम लौटाने में चूक की और उनके खाते लगातार अनियमित बने रहे।

एडवोकेट एआर आदित्य के जरिये दाखिल फाइनल रिपोर्ट में कहा गया कि बीपीएसएल ने अपने निदेशकों के जरिये 33 बैंकों-वित्तीय संस्थानों से 2007 से 2014 के बीच कर्ज लिया, जो वापस नहीं करने के चलते 30 जनवरी, 2018 को बढ़कर 47,204 करोड़ रुपये आंका गया था। पीएनबी की चंडीगढ़ स्थित कॉरपोरेट शाखा के नेतृत्व वाले बैंक समूह से यह कर्ज कार्यशील पूंजी, प्लांट की मशीनरी खरीदने के लिए टर्म लोन, नॉन-फंड बेस टर्म लोन जैसे विभिन्न तरीकों से लिए गए।

रिपोर्ट में आगे बताया गया कि 21 दिसंबर, 2014 को आयकर विभाग ने बीपीएसएल के चंडीगढ़ कार्यालय में छापा मारकर बड़े पैमाने पर कंपनी की रकम को अवैध तरीके से दूसरे खातों में भेजने की गड़बड़ी पकड़ी गई थी।

रिपोर्ट में आरोप है कि कर्ज के पैसे को मुखौटा कंपनियों या समूह कंपनियों के जरिये इधर-उधर घुमाकर ठिकाने लगाने में संजय सिंघल ने मास्टरमाइंड की भूमिका निभाई थी। इस पैसे से उन्होंने अपने या अपने परिजनों के नाम पर प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष संपत्तियां जमा कर लीं।