महानगर में ५७ हजार स्मार्ट परिवार चिन्हित

महानगर में ५७ हजार स्मार्ट परिवार चिन्हित
  • सहारनपुर में स्मार्ट परिवार व कचरे वाले स्टीकर।

सहारनपुर। नगर निगम व आईटीसी मिशन सुनहरा कल उमंग द्वारा महानगर के लगभग 57 हजार स्मार्ट घर चिन्हित किये गए है। ये ऐसे परिवार है जो निगम कर्मचारियों को गीला व सूखा कूड़ा अलग-अलग करके दे रहे हैं। इन घरों के बाहर ‘स्मार्ट परिवारÓ के स्टीकर लगाये जा रहे हैं।

नगरायुक्त गजल भारद्वाज ने लोगों से कहा है कि वे भी गीला-सूखा कूड़ा अलग-अलग कर निगम कर्मचारियों को दें और स्मार्ट परिवार की श्रेणी में शामिल हों। उन्होंने स्वच्छता सर्वेक्षण 2023 में सहारनपुर को नंबर वन लाने के लिए भी लोगों से निगम के अभियान में सहयोग देने की अपील की है। नगरायुक्त गजल भारद्वाज के दिशा निर्देशन में नगर निगम व आईटीसी मिशन सुनहरा कल ‘उमंगÓ द्वारा सोमवार से एक अनूठा स्टीकर अभियान शुरु किया गया है। अभियान के तहत निगम कर्मचारी व आईटीसी मिशन सुनहरा कल उमंग के वालंटियर्स मौहल्ले-मौहल्ले जाकर उन घरों के बाहर स्मार्ट परिवार का स्टीकर लगा रहे हैं जो गीला-सूखा कूड़ा अलग अलग करके दे रहे हैं।

सहायक नगरायुक्त अशोक प्रिय गौतम ने बताया कि महानगर में करीब 57 हजार ऐसे परिवार चिन्हित किये गए हैं। दो दिनों में करीब छह सौ घरों के बाहर स्मार्ट परिवार के स्टीकर लगाये जा चुके है और यह अभियान निरंतर जारी है। आईटीसी मिशन सुनहरा कल उमंग के प्रोग्राम मैनेजर मयंक पाण्डेय ने बताया कि महानगर में स्मार्ट परिवारों की संख्या बढ़ाने के लिए भी एक स्टीकर अभियान चलाया जा रहा है। इसके तहत किचन में भी स्टीकर लगाये जा रहे हैं इसका उद्देश्य यह है कि गृहणियों को कूड़ा अलग-अलग करने में कोई भ्रम न रहे। उन्होंने बताया कि स्टीकर पर तीन प्रकार के डस्टबिन बनाये गए है। पहला है हरा, उसके नीचे फल व पत्तों का कूड़ा, रसोई का कूड़ा, फलों व सब्जियों का कूड़ा और बचा हुआ खाना लिखा गया है और चित्र बनाये गए हैं। इसका तात्पर्य यह है कि ऐसा कचरा हरे रंग के डस्टबिन में एकत्रित करना है। उसके बराबर में नीला डस्टबिन बनाया गया है।

उसके नीचे गत्ता व मिठाई के डिब्बों का कूड़ा, प्लास्टिक डिब्बे व बोतल का कूड़ा, प्लास्टिक के थैले का कूड़ा और प्लास्टिक पैकिंग का कूड़ा लिखा गया है। इसका तात्पर्य यह है कि ऐसा सूखा कूड़ा नीले डस्टबिन में एकत्रित करना है। उसके बराबर में एक तीसरा लाल डस्टबिन बनाया गया है। इसके नीचे दवाई के रैपर का कूड़ा, सीरप की शीशी का कूड़ा, इंजेक्शन निडिल का कूड़ा तथा मास्क और गलब्ज का कूड़ा लिखा गया है और चित्र बनाये गए है। ऐसा कूड़ा लाल डस्टबिन में एकत्रित किया जाना है।